श्री दरबार साहिब में गुरु महिमा से निहाल हुए संगतें,महाराज ने संगतों को दिए दर्शन
देहरादून, 10 जुलाई (हि.स.)। श्री दरबार साहिब में गुरु पूर्णिमा का पर्व अत्यंत श्रद्धाभाव एवं भक्तिपूर्वक मनाया गया। देश-विदेश से पहुंचीं संगतों और श्रद्धालुओं ने महाराज के चरणों में आस्था निवेदित की और गुरु महिमा का भावपूर्ण स्मरण किया। इस पावन अवसर
दरबार साहिब के सज्जादे गद्दीनशीन महंत देवेन्द्र दास महाराज से भक्त आशीर्वाद लेते हुए।


देहरादून, 10 जुलाई (हि.स.)। श्री दरबार साहिब में गुरु पूर्णिमा का पर्व अत्यंत श्रद्धाभाव एवं भक्तिपूर्वक मनाया गया। देश-विदेश से पहुंचीं संगतों और श्रद्धालुओं ने महाराज के चरणों में आस्था निवेदित की और गुरु महिमा का भावपूर्ण स्मरण किया। इस पावन अवसर पर दरबार साहिब के सज्जादे गद्दीनशीन महंत देवेन्द्र दास महाराज ने विशेष पूजा अर्चना की और संगतों को गुरु के उपदेशों का सार समझाया। उन्होंने संगतों को दर्शन दिए और आशीर्वाद दिया।देश विदेश से आई संगतों ने दरबार साहिब में अरदास की और झण्डे जी पर माथा टेका। देवेन्द्र दास महाराज ने श्री गुरु राम राय जी महाराज का विशेष रूप से सिमरन किया। अपने उद्बोधन में देवेन्द्र दास महाराज ने ब्रह्मलीन गुरु महंत इन्दिरेश चरण दास महाराज को श्रद्धापूर्वक स्मरण करते हुए उनके दिखाए मार्ग पर चलने के संकल्प को दोहराया। उन्होंने कहा कि गुरु ही जीवन के वास्तविक पथप्रदर्शक होते हैं, जो अज्ञानता के अंधकार को मिटाकर ज्ञान का प्रकाश फैलाते हैं।

इस अवसर पर दूर-दराज से आई संगतों ने दरबार साहिब में अरदास कर झंडे जी पर माथा टेका। पूरे परिसर में भक्ति और भव्यता का दिव्य संगम देखने को मिला। गुरु पूर्णिमा के इस शुभ दिन को ध्यान, आत्मचिंतन और गुरु की शिक्षाओं के स्मरण का पर्व बताते हुए महाराज ने कहा कि गुरु के उपदेश जीवन को आध्यात्मिक एवं नैतिक ऊंचाइयों तक ले जाते हैं।

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हिन्दुस्थान समाचार / राजेश कुमार