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मुंबई, 16 जुलाई (हि.स.)। महाराष्ट्र राज्य नर्सेज एसोसिएशन ने बुधवार को वेतन समानता और संविदात्मक नियुक्ति प्रथाओं के विरोध में 18 जुलाई से अनिश्चितकालीन राज्यव्यापी हड़ताल की चेतावनी दी है। एसोसिएशन ने कहा है कि जब तक कि सरकार उनकी महत्वपूर्ण मांगों का समाधान नहीं करती, तब तक हड़ताल जारी रहेगी। करीब 30 हजार से अधिक नर्सों का प्रतिनिधित्व करने वाला यह एसोसिएशन आज से आज़ाद मैदान में विरोध प्रदर्शन कर रहा है। यह प्रदर्शन 17 जुलाई को एक दिवसीय हड़ताल में तब्दील हो जाएगा।
एसोसिएशन की महासचिव सुमित्रा तोते ने पत्रकारों को बताया कि सरकारी अस्पतालों में 50 प्रतिशत नर्सिंग पद खाली पड़े हैं, जिससे मौजूदा कर्मचारियों पर असहनीय कार्यभार पड़ रहा है। उन्होंने आगे कहा कि यूनियन कर्मचारियों की कमी के समाधान के रूप में अस्थायी अनुबंधों को स्पष्ट रूप से अस्वीकार करती है। सातवें वेतन आयोग के तहत वेतन असमानताओं का समाधान न होने से तनाव और बढ़ गया है। प्रदर्शनकारी नर्सों ने राज्य और केंद्र सरकार के समकक्षों के बीच असमानताओं को भी उजागर किया है।
दरअसल, इस विवाद का मूल कारण राज्य सरकार द्वारा स्थायी रिक्तियों को भरने के बजाय संविदात्मक आधार पर नर्सों की निरंतर भर्ती है। आगामी हड़ताल से महत्वपूर्ण स्वास्थ्य सेवाओं के चरमराने का खतरा है। खासकर गहन चिकित्सा और नर्सिंग स्टाफ पर अत्यधिक निर्भर इनपेशेंट इकाइयों पर हड़ताल का असर पडऩे की संभावना है। एसोसिएशन ने सार्वजनिक स्वास्थ्य ढांचे की सुरक्षा के लिए अनुबंध पर नियुक्तियों को तुरंत बंद करने और स्थायी भर्ती में तेजी लाने की मांग की है।
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हिन्दुस्थान समाचार / राजबहादुर यादव