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चेन्नई, 14 अक्टूबर (हि.स.)। तमिलनाडु विधानसभा का चार दिवसीय शीतकालीन सत्र की शुरुआत मंगलवार को हो गई। विधानसभा अध्यक्ष एम. अप्पावु ने कार्यवाही की अध्यक्षता में पारंपरिक तिरुक्कुरल गायन से सत्र की शुरुआत हुई। सत्र के पहले दिन दिवंगत आठ पूर्व सदस्यों को श्रद्धांजलि दी गई। इसके बाद 27 सितंबर को एक राजनीतिक रैली के दौरान हुई करूर भगदड़ में मारे गए 41 लोगों को श्रद्धांजलि देने के लिए दो मिनट का मौन रखा गया।
विधानसभा का सत्र शुरू होते ही तमिलनाडु विधानसभा ने हाल ही में करूर में हुई भगदड़ की घटना में हुई 41 लोगों की मौत पर गहरा दुःख व्यक्त करते हुए एक शोक प्रस्ताव पारित किया, जिसमें शोक संतप्त परिवारों के प्रति हार्दिक संवेदना व्यक्त की गई और इस त्रासदी से प्रभावित लोगों के साथ निचले सदन की एकजुटता व्यक्त की गई।
विधानसभा ने केरल के पूर्व मुख्यमंत्री वी.एस. अच्युतानंद, झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री शिबू सोरेन, नागालैंड के पूर्व राज्यपाल एल. गणेशन, भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) महासचिव सुधाकर रेड्डी और भारतीय प्रशासनिक सेवा (आईएएस) की अधिकारी डॉ. बीला वेंकटेशन सहित कई प्रमुख हस्तियों के लिए शोक प्रस्ताव भी पारित किए। विधानसभा में उपस्थित सदस्यों ने सार्वजनिक जीवन में उनके प्रत्येक योगदान को गहरे सम्मान के साथ याद किया।
शोक सभा की कार्यवाही पूरी करने के बाद, अध्यक्ष अप्पावु ने सदन की कार्यवाही दिन भर के लिए स्थगित कर दी और घोषणा की कि सत्र कल (बुधवार) को फिर से शुरू होगा।
विधानसभा की कार्यसूची के अनुसार, वित्त मंत्री थंगम थेन्नारसू 15 अक्टूबर को वित्तीय वर्ष 2025-2026 के लिए अनुपूरक अनुमान प्रस्तुत करेंगे। अनुदानों पर चर्चा 16 अक्टूबर को होगी और मंत्री 17 अक्टूबर को बहस का उत्तर देंगे, जिसके साथ ही यह अल्पकालिक सत्र समाप्त हो जाएगा।
विधानसभा की बैठक प्रतिदिन सुबह 9.30 बजे प्रश्नकाल के साथ शुरू होगी, जिसके बाद विधायी कार्य होंगे। यह शीतकालीन सत्र संक्षिप्त है, लेकिन इसमें सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच तीखी बहस होने की उम्मीद है, खासकर करूर त्रासदी और हाल के हफ्तों में राज्य में कानून-व्यवस्था से जुड़े अन्य विवादों के मद्देनजर।
विधानसभा अध्यक्ष ने आशा व्यक्त की कि कार्यवाही गरिमापूर्ण और रचनात्मक रहेगी तथा राजनीतिक मतभेदों के बावजूद जन कल्याण पर केंद्रित रहेगी।----------
हिन्दुस्थान समाचार / Dr. Vara Prasada Rao PV