हाई कोर्ट ने उपायुक्त सहित दो सचिव और निगम प्रशासक को हाजिर होने का दिया निर्देश
हाई कोर्ट की फाइल फोटो


रांची, 30 जुलाई (हि.स.)। झारखंड हाईकोर्ट में बुधवार को जलाशयों के आस पास हो रहे अतिक्रमण को रोकने के लिए दायर जनहित याचिका पर सुनवाई हुई।

सुनवाई के दौरान मामले को गंभीरता से लेते हुए हाई कोर्ट के चीफ जस्टिस की खंडपीठ ने गुरुवार को नगर विकास विभाग के सचिव, जल संसाधन विभाग के सचिव, रांची डीसी और रांची नगर निगम के प्रशासक को कोर्ट में सशरीर उपस्थित रहने का निर्देश दिया है।

अदालत ने मांगी जवाबदेही

सुनवाई के दौरान हाई कोर्ट ने यह भी स्पष्ट किया है कि 18 अप्रैल 2023 को हाईकोर्ट की ओर से दिए गए आदेश पर अब तक क्या कार्रवाई हुई है, इसकी विस्तृत जानकारी राज्य सरकार और नगर निगम से पेश करने को कहा गया है। रांची के बड़ा तालाब और जिले के आसपास के जल स्रोतों को संरक्षित करने और इसमें हो रहे अतिक्रमण को हटाने की मांग को लेकर झारखंड हाईकोर्ट का दरवाजा खटखटाया गया है। जनहित याचिका में कहा गया है कि बड़ा तालाब, कांके डैम और धुर्वा डैम की सैकड़ों एकड़ जमीन अतिक्रमणकारियों ने हड़प ली है और वहां मल्टी स्टोरेज बिल्डिंग का निर्माण किया जा रहा है। इससे जलाशयों का स्वाभाविक प्रवाह और अस्तित्व खतरे में पड़ गया है। यदि समय रहते कार्रवाई नहीं हुई, तो भविष्य में जल संकट और पर्यावरणीय असंतुलन गहरा सकता है।

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हिन्दुस्थान समाचार / Vinod Pathak