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जयपुर, 16 जुलाई (हि.स.)। राजस्थान हाईकोर्ट ने शहर के एक व्यवसायी को अवैध हिरासत में रखने के मामले में भांकरोटा थाने के एसएचओ को 22 जुलाई को अदालत में उपस्थित रहने का निर्देश दिया है। वहीं मामले में जयपुर पुलिस कमिश्नर को शपथ पत्र सहित जवाब देने के लिए कहा है। जस्टिस समीर जैन ने यह निर्देश सांगानेर निवासी रामदेव हरितवाल की याचिका पर दिया। अदालत ने आगामी सुनवाई तक मामले की अग्रिम कार्रवाई पर भी रोक लगा दी है।
मामले से जुड़े अधिवक्ता मोहित खण्डेलवाल ने बताया कि शिकायतकर्ता व प्रार्थी के बीच में रुपयों के लेन-देन व इकरारनामे का विवाद था और इस संबंध में सिविल दावा कोर्ट में लंबित था। इस मामले में हाईकोर्ट ने भी प्रार्थी के पक्ष में स्टे दे रखा था। वहीं शिकायतकर्ता ने उसके खिलाफ 2022 में एफआईआर दर्ज कराई थी। पुलिस ने इस एफआईआर में कार्रवाई करते हुए 28 मई 2025 को प्रार्थी को अचानक ही अवैध तौर पर गिरफ्तार कर लिया। इस कार्रवाई से पहले पुलिस ने ना तो उसे कोई नोटिस दिया और ना ही गिरफ्तारी का कोई कारण बताया। जबकि सुप्रीम कोर्ट कह चुका है कि गिरफ्तारी से पहले आरोपित को नोटिस देना और इसका कारण लिखित में उसे बताना जरूरी है। ऐसे में प्रार्थी के संवैधानिक अधिकारों और सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों का भी उल्लंघन हुआ है। इसलिए मामले में आवश्यक कार्रवाई की जाए।
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हिन्दुस्थान समाचार / पारीक