वाराणसी में विद्युत कटौती की समस्या से लोगों को हाे रही भारी परेशानी
सांकेतिक फोटो बल्ब बंद


वाराणसी, 31 जुलाई (हि. स.)। वाराणसी में विद्युत कटौती एक आम समस्या बनती जा रही है। गुरुवार को लंका क्षेत्र के सामने घाट इलाके में आधा घंटा तक विद्युत कटौती हुई। वहीं कलेक्ट्रेट परिसर में एक घण्टे से विद्युत आपूर्ति अवरुद्ध होने पर अधिवक्ताओं ने नाराजगी जाहिर की। लालपुर क्षेत्र में भी सुबह से अपराह्न एक बजे तक चार बार बिजली आई और गई। जिसे लेकर लोगों ने गुस्सा जाहिर किया।

ऊर्जा मंत्री एके शर्मा के तमाम निर्देशों के बावजूद वाराणसी में विद्युत आपूर्ति सुचारू रूप से नहीं है। शहरी इलाकों के वार्डों मोहल्लों में प्रतिदिन चार से सात बार तक विद्युत कटौती हो रही है। पांच से 15 मिनट तक की विद्युत कटौती सामान्य बात हो गई है। चौकाघाट निवासी कमलेश ने बताया कि विद्युत बिल समय पर आता है और जमा भी समय पर किया जाता है। विद्युत कर्मचारी अच्छा व्यवहार करते हैं लेकिन उन्हें वाराणसी में 24 घंटे बिजली नहीं मिलती है। प्रतिदिन देखा जाए तो एक से डेढ़ घंटे की विद्युत कटौती होती है, जिसे कभी 5 मिनट और कभी 15 मिनट के अनुसार काट कर पूरा किया जाता है।

अधिवक्ता कमला कांत त्रिपाठी ने बताया कि गुरुवार को कलेक्ट्रेट परिसर में एक घंटे से ज्यादा समय तक विद्युत कटौती रही और इस दौरान उन्होंने स्वयं पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के अधिकारियों से शिकायत की। जब कलेक्ट्रेट में इतनी लंबी कटौती है तो इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि विद्युत विभाग के पास शहर में सुचारू विद्युत आपूर्ति के लिए व्यवस्थित योजना क्या होगी।

सामनेघाट निवासी रवि प्रकाश ने कहा कि बनारस के लोगों को 24 घंटे बिजली नहीं मिल रही है। इस संबंध में स्थानीय विद्युत केंद्र पर शिकायत करने पर भी कोई ठोस कार्यवाही नहीं होती है। कुछ दिन पूर्व ही रात के वक्त लंबी विद्युत कटौती हुई थी। जिससे स्थानीय लोगों को बेहद समस्या हुई।

वाराणसी में गुरुवार को बेतहाशा विद्युत कटौती के मामले में पूर्वांचल विद्युत वितरण निगम लिमिटेड के अधीक्षण अभियंता अनिल वर्मा ने हिंदुस्थान समाचार से कहा कि बार-बार बिजली कटनी की समस्या की जानकारी हम लोगों को हो रही है। इसके लिए बारिश बंद होते ही एक बड़ा अभियान चलाएंगे। जिसमें जगह-जगह पर पोल, तार एवं मशीनों की जांच होगी। फिलहाल हम कोशिश कर रहे हैं कि वाराणसी में पूरे समय बिजली रहे।

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हिन्दुस्थान समाचार / श.चन्द्र