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जयपुर, 8 सितंबर (हि.स.)। भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ ने कहा कि कांग्रेसी नेता मुंगेरी लाल के हसीन सपने देखकर खुश हो रहे है। 4 सितंबर को नगर निकाय उपचुनावों के परिणाम में 4 वार्डों में से 1 वार्ड में कांग्रेस जीत पाई, 3 पर भाजपा को स्पष्ट बहुमत मिला है, इसके बावजूद कांग्रेसी नेता खुश होकर ताल ठोक रहे है।
राठौड़ ने बताया कि निकाय एवं विधानसभा उपचुनावों में भाजपा ने बहुमत से जीत दर्ज करते हुए यह सिद्ध कर दिया है कि जनता का विश्वास आज भी भाजपा के सुशासन, विकास और पारदर्शिता पर कायम है। जबकि कांग्रेस प्रदेश के साथ देशभर में जनता के बीच अपना जनाधार खो चुकी है। ना कांग्रेसी नेताओं की कोई साख है ना ही जनता कांग्रेसी नेताओं पर विश्वास कर पा रही है। प्रदेश में पिछले 2 सालों में कुल 80 उपचुनावों में से 59 में भाजपा की जीत यह प्रमाणित करती है कि कांग्रेस की कथित ‘जीत’ केवल एक राजनीतिक दिखावा है। गहलोत साहब कहते है कि भजनलाल जी से मुकाबला करने में मजा नहीं आ रहा, मैं उन से पूछता हूं कि उपचुनावों में हारने के बाद भी मजा नहीं आ रहा क्या ? इससे ज्यादा मजा और चखा देंगे, कहीं दिखोगे ही नहीं, चारों खाने चित हो जाएंगे।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ ने कहा कि राजस्थान की जनता अब कांग्रेस के खोखले वादों और उनकी विफल नीतियों को भली-भांति पहचान चुकी है। अशोक गहलोत का बयान उनकी हताशा और बौखलाहट को दर्शाता है। कांग्रेस के शासनकाल में राजस्थान ने केवल भ्रष्टाचार, बेरोजगारी और कानून व्यवस्था की बदहाली देखी है। गहलोत को आत्ममंथन करना चाहिए कि उनकी पार्टी किस स्थिति में है और युवाओं, किसानों और महिलाओं से किए गए वादों का क्या हुआ। राठौड़ ने कहा कि भाजपा सोशल मीडिया पर दिए ऐसे बयानों से विचलित होने वाली नहीं है, भाजपा की भजनलाल सरकार प्रदेश के विकास और सुशासन की दिशा में ठोस कदम बढ़ा रही हैं। राठौड़ ने कहा कि नगर निकाय उपचुनावों में कांग्रेस चार निकायों में से केवल एक हेरिटेज जयपुर के वार्ड 63 में जीत पाई है, जबकि तीन निकायों टोंक मालपुरा के वार्ड 31 एवं 34 और भीलवाडा के गुलाबपुरा में वार्ड 28 में भाजपा को स्पष्ट जनादेश मिला। इसके बावजूद कांग्रेस आत्ममुग्धता में ‘ताल ठोकने’ का नाटक कर रही है। इससे पहले प्रदेश की 7 विधानसभा उपचुनावों में से 5 पर भाजपा की विजय और सिर्फ एक पर कांग्रेस की जीत होना, इनकी जमीनी हकीकत को उजागर करता है।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ ने कांग्रेस की आंतरिक कलह पर भी प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि कांग्रेस नेताओं के बीच सार्वजनिक रूप से चल रही खींचतान, जैसे कि डोटासरा और जूली के बीच माफीनामे को लेकर शुरू हुआ विवाद, वरिष्ठ नेता राजेंद्र पारिक पर डोटासरा द्वारा की गई टिप्पणी, यह दर्शाती है कि कांग्रेस में अनुशासन और नेतृत्व का अभाव है। इस तरह के बयान केवल पार्टी की अंदरूनी कमजोरी को उजागर करते हैं। पूर्व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत का विधानसभा में न आना यह दर्शाता है कि कांग्रेस लोकतांत्रिक संस्थाओं का सम्मान नहीं करती। लोकतंत्र में आस्था रखने वाले नेता जनता के सामने, सदन के भीतर संवाद करते हैं, न कि बाहर से बयानबाज़ी करके।
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष मदन राठौड़ ने कहा कि भाजपा चुनावों में पारदर्शिता और आधुनिक तकनीक के पक्ष में है। कांग्रेस का बैलेट पेपर की ओर लौटने की मांग केवल राजनीतिक हताशा और तकनीकी प्रगति से भय को दर्शाता है। जब ईवीएम से कांग्रेस को जीत मिलती है तो उसे स्वीकार किया जाता है, और जब हार होती है तो उसी मशीन पर सवाल उठाए जाते हैं — यह दोहरा मापदंड स्वीकार्य नहीं है। भाजपा जनता के विश्वास और समर्थन से निरंतर आगे बढ़ रही है, और आने वाले समय में कांग्रेस को हर मोर्चे पर लोकतांत्रिक और राजनीतिक रूप से चुनौती देती रहेगी।
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हिन्दुस्थान समाचार / दिनेश