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श्रीनगर, ३ अगस्त (हि.स.)। पीपुल्स डेमोक्रेटिक फ्रंट (पीडीएफ) के अध्यक्ष और पूर्व मंत्री हकीम मोहम्मद यासीन ने शनिवार को जम्मू-कश्मीर नेशनल कॉन्फ्रेंस (जेकेएनसी) और कांग्रेस पर राजनीतिक पाखंड और चयनात्मक आक्रोश का आरोप लगाया। 5 अगस्त को काला दिवस के रूप में मनाने के फैसले पर सवाल उठाया जबकि 9 अगस्त को आसानी से नजरअंदाज कर दिया जिस दिन शेख मोहम्मद अब्दुल्ला को 1953 में तत्कालीन कांग्रेस के नेतृत्व वाली सरकार ने गिरफ्तार किया था।
वेट्रेड कचवारी खानसाहिब में एक पार्टी सम्मेलन को संबोधित करते हुए यासीन ने कहा कि 5 अगस्त 2019 को अनुच्छेद 370 को निरस्त करना निंदा और प्रतिरोध का पात्र है लेकिन 1953 में अपने ही संस्थापक के विश्वासघात पर जेकेएनसी की चुप्पी सिद्धांत के बजाय राजनीतिक सुविधा से प्रेरित दोहरे मानक को दर्शाती है। खानसाहिब में वेट्रेड कछवारी में एक दिवसीय पार्टी सम्मेलन को संबोधित करते हुए यासीन ने जेकेएनसी और कांग्रेस के चयनात्मक आक्रोश पर सवाल उठाया।
उन्होंने कहा कि हालांकि पार्टी 5 अगस्त को काला दिवस के रूप में मनाने की तैयारी कर रही है जिसे उन्होंने अनुच्छेद 370 के निरस्त होने के कारण वास्तविक और उचित माना है लेकिन वे 9 अगस्त को आसानी से भूल गए हैं जिस दिन उन्होंने 1953 में शेख मोहम्मद अब्दुल्ला की गिरफ्तारी के विरोध में काला दिवस भी मनाया था।
हिन्दुस्थान समाचार / रमेश गुप्ता