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सूरजपुर, 3 जुलाई (हि.स.)। प्रधानमंत्री आवास योजना (ग्रामीण) के तहत जिले में आवासहीन परिवारों को छत मुहैया कराने के लिए जहां शासन की मंशा अनुसार लगातार कार्य हो रहा है, वहीं अब इसके साथ बिहान योजना को जोड़कर हितग्राहियों को अतिरिक्त आर्थिक सहायता भी उपलब्ध कराई जा रही है। कलेक्टर एस. जयवर्धन के मार्गदर्शन में एवं जिला पंचायत की मुख्य कार्यपालन अधिकारी कमलेश नंदिनी साहू के निर्देशन में हितग्राहियों की जमीनी समस्याओं का अवलोकन करते हुए यह पाया गया कि कई लाभार्थी चाहते हैं कि उनका आवास मानक से थोड़ा बड़ा एवं बेहतर हो, ताकि वह लंबे समय तक टिकाऊ और सुविधाजनक बन सके। वहीं कुछ हितग्राही ऐसे भी हैं जिन्होंने पूर्व में आवास की स्वीकृत राशि का उपयोग पारिवारिक प्राथमिकताओं में कर लिया, जिससे निर्माण कार्य में वित्तीय कठिनाई आ रही थी। इन दोनों ही परिस्थितियों को ध्यान में रखते हुए जिले में एक अभिनव पहल की गई है, जिसके अंतर्गत प्रधानमंत्री आवास योजना के हितग्राहियों को राष्ट्रीय ग्रामीण आजीविका मिशन (एनआरएलएम) की बिहान योजना से जोड़ा गया है।
इस पहल के अंतर्गत स्वयं सहायता समूहों से जुड़े पात्र हितग्राहियों को सामुदायिक निवेश कोष, (सीआईएफ) तथा बैंक लिंकेज के माध्यम से ऋण सुविधा उपलब्ध कराई जा रही है, जिससे वे अपने आवास निर्माण में आवश्यक अतिरिक्त लागत को पूरा कर सकें। अब तक जिले में कुल 149 हितग्राहियों को 69,38,000 की ऋण सहायता प्रदान की जा चुकी है। जनपद स्तर पर बात करें तो भैयाथान जनपद के 67 हितग्राहियों को 29.80 लाख, ओड़गी जनपद के 16 हितग्राहियों को 7.75 लाख, प्रतापपुर के 4 हितग्राहियों को 2.25 लाख, प्रेमनगर के 39 हितग्राहियों को 16.78 लाख, रामानुजनगर के 7 हितग्राहियों को 1.10 लाख तथा सूरजपुर जनपद पंचायत के 16 हितग्राहियों को 11.70 लाख की सहायता दी गई है। यह प्रक्रिया निरंतर जारी है और अन्य पात्र हितग्राहियों को भी चिन्हांकित कर सहायता दी जा रही है।
इस योजना का सकारात्मक प्रभाव अब जमीनी स्तर पर देखने को मिल रहा है। हितग्राहियों में आत्मनिर्भरता की भावना विकसित हो रही है और आवास निर्माण में गति आई है, इसका एक उदाहरण जनपद पंचायत प्रेमनगर के ग्राम पंचायत जनार्दनपुर की मीना पोर्ते पति संजय कुमार हैं, इन्हें वर्ष 2024-25 में प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत स्वीकृति प्राप्त हुई। योजना के अनुसार उन्हें 1 लाख 20 हखार तीन किस्तों में तथा मनरेगा अभिसरण से 21 हजार 870 रूपये की मजदूरी राशि मिलेगी। मीना का मानना है कि आवास एक बार बनता है, इसलिए इसे थोड़ा बड़ा और बेहतर बनाना चाहिए। चूंकि वे बिहान योजना के अंतर्गत आशा महिला स्व-सहायता समूह की सदस्य हैं, इसलिए उन्होंने समूह के माध्यम से सामुदायिक निवेश कोष से 60 हजार का ऋण प्राप्त किया।
स्वयं की बचत के साथ शासन की सहायता मिलकर अब वे एक सुसज्जित, मानक से बड़ा और सुंदर घर बनाने की दिशा में सशक्त रूप से अग्रसर हैं। उनका परिवार प्रसन्न है और इस सराहनीय सहयोग के लिए शासन के प्रति हार्दिक आभार व्यक्त करती है।
जिले में ऐसी कई प्रेरणादायक कहानियां हैं, जहां बिहान योजना के माध्यम से ऋण लेकर लाभार्थियों ने अपने आवास निर्माण को साकार किया है। प्रेमनगर विकासखंड के ग्राम पंचायत केदारपुर की पुष्पा पति सागर को 1 लाख रूपये ग्राम जनार्दनपुर की मीना पोर्ते पति संजय कुमार को 60 हजार रूपये प्रतापपुर जनपद के ग्राम पंचायत नरोला की लीलावती पति जयकुमार को 35 हजार रूपये पहाड़करवां की ललिता पति नंदलाल को एक लाख रूपये गोविंदपुर की बसंती पति पंचम को 50 हजार रूपये रामानुजनगर के ग्राम पंचायत तेलाईमुड़ा की सरस्वती पति बसंत को 30 हजार रूपये तथा ओड़गी जनपद के ग्राम टोमो की परमेश्वरी पति नोहर को 25 रूपये की ऋण सहायता प्रदान की गई है।
बिहान योजना और प्रधानमंत्री आवास योजना के इस समन्वित क्रियान्वयन से यह स्पष्ट होता है कि, शासन की योजनाएं जब जन-संवेदना और नवाचार से जुड़ती हैं, तो वे न केवल समस्याओं का समाधान करती हैं बल्कि आमजन के जीवन में वास्तविक बदलाव भी लाती हैं। जिला प्रशासन की इस पहल से अब जिले के सैकड़ों परिवारों का “पक्का घर” का सपना साकार हो रहा है।
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हिन्दुस्थान समाचार / विष्णु पांडेय