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भाेपाल, 29 जुलाई (हि.स.)। मप्र विधानसभा में मानसून सत्र के दूसरे दिन मंगलवार काे कांग्रेस ने कानून व्यवस्था का मुद्दा उठाया। कांग्रेस के विधायकों ने जमकर नारेबाजी की। कांग्रेस विधायकों पर झूठे मुकदमे दर्ज होने का सवाल उठाया। कांग्रेस विधायकों ने जनप्रतिनिधियों पर हमले के मामलों में कार्रवाई नहीं होने की बात कही। इस बीच विधानसभा अध्यक्ष के निर्देश पर डिप्टी सीएम और वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने वाणिज्य कर विभाग से संबंधित पत्रों को पटल पर रखने का काम शुरू कर दिया। इस पर कांग्रेस विधायक भड़क गए और सदन से वॉक आउट कर दिया।
नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा कि कांग्रेस विधायक और परिवार पर जबरन मामला दर्ज किया गया। जिस प्रकार सरकार के खिलाफ आवाज उठाने वाले जनप्रतिनिधियों के खिलाफ पुलिस पर दबाव बनाकर केस बनवाए जा रहे हैं, ये स्पष्ट है कि बीजेपी जनता की आवाज दबाने का काम कर रही है। उन्होंने कहा कि मुख्यमंत्री जी, आपको सदन के सदस्यों को संरक्षण देना पड़ेगा। नहीं तो हमें इनके विधानसभा क्षेत्रों में घेराव और आंदोलन करना पड़ेगा। सुरक्षा व्यवस्था बिगड़ेगी तो सरकार जिम्मेदार होगी। नेता प्रतिपक्ष ने इस दौरान कांग्रेस विधायक अभय मिश्रा, सेना पटेल और आरिफ मसूद के मामले उठाए। इस बीच विधानसभा अध्यक्ष के निर्देश पर डिप्टी सीएम और वित्त मंत्री जगदीश देवड़ा ने वाणिज्य कर विभाग से संबंधित पत्रों को पटल पर रखने का काम शुरू कर दिया। इस पर कांग्रेस विधायक भड़क गए और सदन से वॉक आउट कर दिया।
सिंगार बाेले: अनुपूरक बजट जनता के लिए है या ब्रांडिंग के लिए ?
वहीं विधानसभा में अनुपूरक बजट पेश किया गया। इसे लेकर नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने सवाल उठाए हैं। उन्होंने पूछा कि ये अनुपूरक बजट जनता के लिए है या ब्रांडिंग के लिए ? नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार ने कहा कि प्रदेश में किसानों को खाद्य नहीं मिल रही है। बेरोजगारी बढ़ रही है, युवाओं को नौकरी नहीं मिल रही है। राज्य में 28 लाख से ज्यादा बेरोजगार हैं। परीक्षाओं में धांधली हो रही है, बच्चे कुपोषित हो रहे हैं। अनुपूरक बजट में इन सब के लिए पैसा है कि नहीं है, ये बताएं ? सिंघार ने आगे कहा कि सरकार अनुपूरक बजट हर बार लाती है, लेकिन ये अनुपूरक बजट जनता के लिए है या ब्रांडिंग के लिए या विदेश यात्रा के लिए है मुख्यमंत्री जी बताएं ?
कमलनाथ ने भी सरकार पर साधा निशाना
कांग्रेस विधायक और पूर्व मुख्यमंत्री कमलनाथ ने विधानसभा परिसर में मीडिया से बातचीत करते हुए कहा कि यहां केवल आश्वासन देकर घोषणाएं की जा रही हैं। यदि इन्हें पुरस्कार दिया जाए आश्वासन और घोषणाओं में, तो पहला पुरस्कार मिलेगा। आज की ही बात है, हर चीज में आश्वासन दिए जा रहे हैं। अगर किसी ने यह सवाल पूछा कि कितनी घोषणाएं शिवराज सिंह चौहान और डाॅ. मोहन यादव ने की हैं तो उसका कोई हिसाब-किताब नहीं है। ओबीसी आरक्षण के मुद्दे पर कमलनाथ ने कहा कि यह आज न्याय का प्रश्न है। यह ओबीसी का प्रश्न नहीं है। मैं मानता हूं कि यह सामाजिक न्याय का प्रश्न है। इस पर कांग्रेस अपनी आवाज उठाती रहेगी।
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हिन्दुस्थान समाचार / नेहा पांडे