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जयपुर, 24 जुलाई (हि.स.)। राजस्थान हाईकोर्ट ने कैडर पुनर्गठन की मांग को लेकर एक सप्ताह से आंदोलन कर रहे कर्मचारियों के सामूहिक अवकाश को अवैध घोषित कर दिया है। इसके साथ ही अदालत ने कर्मचारियों को 25 जुलाई को सुबह दस बजे काम पर वापस लौटने को कहा है। अदालत ने चेतावनी दी है कि यदि कर्मचारी तत्काल काम पर नहीं लौटे तो उन पर कार्रवाई की जाएगी। जस्टिस अशोक कुमार जैन की एकलपीठ ने यह आदेश इबरान व अन्य की ओर से दायर आपराधिक अपील पर सुनवाई करते हुए दिए।
अदालत ने कहा कि कर्मचारी संघ ने रजिस्ट्रार जनरल के बजाए सीधे ही मुख्य सचिव के जरिए मुख्यमंत्री के नाम सामूहिक अवकाश पर जाने का अभ्यावेदन भेज दिया, जो कि गंभीर अनुशासनहीनता की श्रेणी में आता है। वहीं सीजे के तबादले और नए सीजे के कार्यग्रहण करने के बीच कर्मचारी हाईकोर्ट प्रशासन को बिना बताए ही अवकाश पर चले गए। जब वकीलों को ही हड़ताल पर जाने का अधिकार नहीं है तो फिर वेतन भोगी कर्मचारी ऐसा कैसे कर सकते हैं। न्यायिक कर्मचारियों को राज्य सरकार के कर्मचारियों से अधिक वेतन और भत्ते मिल रहे हैं, इसके बावजूद भी पूर्ण पीठ ने राज्य सरकार को कैडर पुनर्गठन का प्रस्ताव भेजा वहीं आगामी 25 जुलाई को मुख्य सचिव की अध्यक्षता में इसे लेकर बैठक भी होनी है। सुनवाई के दौरान अदालती आदेश की पालना में रजिस्ट्रार न्यायिक मनोज सोनी अदालत में पेश हुए। उन्होंने मामले की विस्तृत रिपोर्ट पेश कर कहा कि कर्मचारियों के सामूहिक अवकाश पर जाने से कामकाज ठप हो गया है। वहीं कुछ वकीलों ने भी कहा कि निचली अदालतों में कोई वैकल्पिक व्यवस्था नहीं की गई है। जिसके चलते पक्षकार और वकील प्रभावित हो रहे हैं।
काम पर नहीं लौटने पर यह दिए निर्देश होंगे लागू
- डीजे संबंधित एसपी और कलेक्टर के साथ बैठक कर वैकल्पिक व्यवस्था सुनिश्चित करें।
- अदालतों का सुचारू संचालन के लिए कलेक्टर सूचना सहायकों और होमगार्ड नियुक्त करें।
- स्वेच्छा से काम करने वाले युवा वकीलों से लिया जाए काम, बार भी करे सहयोग।
- इस दौरान यदि कोई दस्तावेज गायब हुआ तो स्थाई रूप से कार्यरत संबंधित कर्मचारी की होगी जिम्मेदारी।
- अस्थाई रूप से काम करने वालों की सुरक्षा सुनिश्चित की जाए।
- आदेश नहीं मानने वाले न्यायिक कर्मचारियों और इसके लिए प्रेरित करने वाले पर डीजे करे अनुशासनात्मक कार्रवाई, जिले के बाद तबादला और निलंबन भी संभव।
- डीजे प्रतिदिन रजिस्ट्रार जनरल को रिपोर्ट करें पेश।
- रजिस्ट्रार जनरल 28 जुलाई को सीजे के समक्ष करें रिपोर्ट पेश।
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हिन्दुस्थान समाचार / पारीक