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शिमला, 24 जून (हि.स.)। राजधानी शिमला के संकट मोचन की रहने वाली 76 वर्षीय संजोगता नाग का शव पांच दिन बाद कनलोग-खलीनी क्षेत्र के बीच एक नाले में बरामद हुआ है। वह पिछले पांच दिनों से लापता थी। मंगलवार को शव मिलने की सूचना पर न्यू शिमला थाना पुलिस मौके पर पहुंची और शव को कब्जे में लेकर पोस्टमार्टम के लिए भेज दिया।
संजोगता नाग 19 जून को अपनी बेटी के साथ इलाज के लिए आईजीएमसी अस्पताल आई थीं। अस्पताल की न्यू ओपीडी बिल्डिंग के पास वे अचानक अपनी बेटी से बिछड़ गईं और तभी से लापता थीं। शाम को आखिरी बार सीसीटीवी कैमरे में उन्हें कनलोग की ओर जाते देखा गया था। इसके बाद परिजनों ने लक्कड़ बाजार चौकी में गुमशुदगी की रिपोर्ट दर्ज करवाई थी।
महिला की तलाश के लिए पुलिस ने विशेष टीमें गठित की थीं और डॉग स्क्वॉड व ड्रोन की मदद भी ली गई थी। सोशल मीडिया के माध्यम से भी उनकी बड़ी बेटी नीरुपमा शर्मा ने लोगों से अपील की थी कि उनकी मां को ढूंढने में सहयोग करें।
परिजनों के मुताबिक़ संजोगता नाग मधुमेह की मरीज थीं और उन्हें भूलने की बीमारी भी थी। आशंका जताई जा रही थी कि वे रास्ता भटक गई होंगी। लापता होने के समय उन्होंने भूरे रंग का सूट, काला चश्मा और नीला सर्जिकल मास्क पहना हुआ था।
मंगलवार को जंगल में शव मिलने की सूचना पुलिस को मिली। इसके बाद पुलिस टीम मौके पर पहुंची और पहचान की पुष्टि के बाद शव को पोस्टमार्टम के लिए आईजीएमसी भेज दिया गया।
फिलहाल संजोगता नाग की मौत के कारणों को लेकर स्थिति स्पष्ट नहीं है। यह दुर्घटना है या इसके पीछे कोई अन्य कारण, इसका खुलासा पोस्टमार्टम रिपोर्ट के बाद ही हो पाएगा। पुलिस हर एंगल से जांच कर रही है। बुजुर्ग महिला की मौत से उनके परिजनों पर दुख का पहाड़ टूट गया है।
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हिन्दुस्थान समाचार / उज्जवल शर्मा