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नई दिल्ली, 13 दिसंबर (हि.स.)। महिला सुरक्षा और आपातकालीन सहायता को लेकर मध्य जिला पुलिस ने एक सराहनीय कदम उठाते हुए “से हेल्प” मोबाइल ऐप के प्रचार-प्रसार के लिए बड़े स्तर पर जन-जागरूकता कार्यक्रम का शनिवार को आयोजन किया। इस मौके पर करीब 500 ऑटो-रिक्शा को “से हेल्प” ऐप के संदेश वाले बैनरों से सजाकर सड़कों पर उतारा गया, ताकि अधिक से अधिक लोगों तक महिला सुरक्षा से जुड़ा संदेश पहुंच सके। इस ऑटो-रिक्शा जागरूकता रैली को निर्भया की मां आशा देवी ने हरी झंडी दिखाकर रवाना किया। उनके शामिल होने से कार्यक्रम को भावनात्मक मजबूती और सामाजिक महत्व मिला। कार्यक्रम में दिल्ली पुलिस के विशेष आयुक्त (एचआरडी) रॉबिन हिबू भी विशेष रूप से मौजूद रहे।
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए आशा देवी ने कहा कि महिलाओं की सुरक्षा केवल कानून व्यवस्था की जिम्मेदारी नहीं, बल्कि पूरे समाज की साझा जिम्मेदारी है। उन्होंने कहा, “अगर उस समय ऐसा कोई ऐप होता, तो शायद मेरी बेटी को बचाया जा सकता था।” उनके शब्दों ने वहां मौजूद लोगों को भावुक कर दिया और महिला सुरक्षा को लेकर सजग रहने का संदेश दिया।
विशेष आयुक्त रॉबिन हिबू ने कहा कि दिल्ली पुलिस स्मार्ट पुलिसिंग, सामुदायिक भागीदारी और तकनीक आधारित सुरक्षा उपायों के माध्यम से नागरिकों की सुरक्षा के लिए लगातार काम कर रही है। उन्होंने लोगों से अपील की कि वे ऐसे तकनीकी प्लेटफॉर्म का अधिक से अधिक उपयोग करें, जिससे आपात स्थिति में तुरंत मदद मिल सके।
“से हेल्प” ऐप एक अत्याधुनिक सुरक्षा ऐप है, जिसमें वॉयस कमांड और एक बटन दबाते ही एसओएस अलर्ट भेजने की सुविधा है। आपात स्थिति में यह ऐप तुरंत यादृच्छिक संपर्कों और संबंधित एजेंसियों तक मदद का संदेश पहुंचाता है, जिससे समय रहते सहायता मिल सके।
ऑटो-रिक्शा रैली के जरिए सेंट्रल जिला के भीड़भाड़ वाले इलाकों और सार्वजनिक स्थानों पर “से हेल्प” ऐप के बारे में जागरूकता फैलाने का प्रयास किया गया। पुलिस अधिकारियों का मानना है कि इस अभियान से ऐप के उपयोग और महिला सुरक्षा को लेकर जागरूकता में उल्लेखनीय बढ़ोतरी होगी। मध्य जिला पुलिस ने दोहराया कि वह नागरिकों, सामाजिक संगठनों और तकनीकी भागीदारों के साथ मिलकर दिल्ली को और अधिक सुरक्षित शहर बनाने के लिए प्रतिबद्ध है।
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हिन्दुस्थान समाचार / कुमार अश्वनी