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शिमला, 14 जून (हि.स.)। हिमाचल प्रदेश की राजधानी शिमला में इन दिनों पर्यटकों का भारी सैलाब उमड़ पड़ा है। मैदानी राज्यों की झुलसाती गर्मी से राहत पाने के लिए हजारों पर्यटक रोज़ाना पहाड़ों की रानी शिमला का रुख कर रहे हैं। लेकिन इस भीड़ ने शहर की यातायात व्यवस्था की कमर तोड़ दी है। सड़कों पर जगह-जगह जाम की स्थिति बनी हुई है, जिससे स्थानीय लोगों और पर्यटकों दोनों को भारी परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।
शहर के प्रवेश द्वार शोघी बैरियर से मिली जानकारी के अनुसार बीते सात दिनों में दो लाख पच्चीस हजार से अधिक वाहन शिमला में प्रवेश कर चुके हैं। इससे मुख्य मार्गों पर लगातार दबाव बना हुआ है। कालका-शिमला नेशनल हाईवे पर आईएसबीटी बाईपास से ओल्ड बस स्टैंड शिमला तक के चार किलोमीटर के फासले तक वाहनों की कतारें लग रही हैं और कुछ मिनटों का सफर घंटों में तब्दील हो रहा है। इस स्थिति से निपटने के लिए जिला पुलिस प्रशासन ने कमर कस ली है।
डीएसपी ट्रैफिक संदीप शर्मा ने बताया कि ट्रैफिक को सुचारु बनाए रखने के लिए दो अतिरिक्त ट्रैफिक टुकड़ियों की तैनाती की गई है। ये टीमें जामग्रस्त जगहों पर सक्रिय रूप से काम कर रही हैं। उन्होंने आम जनता और पर्यटकों से सहयोग की अपील करते हुए कहा कि यातायात की व्यवस्था बनाए रखने के लिए लोग अपने गंतव्य के लिए थोड़ा जल्दी निकलें और ट्रैफिक नियमों का पालन करें।
शहर के स्थानीय निवासियों का कहना है कि हर साल गर्मियों में ट्रैफिक की स्थिति बद से बदतर हो जाती है, लेकिन इस बार हालात और भी गंभीर हैं। स्कूल जाने वाले बच्चों से लेकर दफ्तर जाने वाले कर्मचारी तक जाम में फंसे हुए हैं। कई बार एंबुलेंस और जरूरी सेवाओं के वाहन भी जाम में फंस जाते हैं, जिससे हालात चिंताजनक हो जाते हैं।
15 दिन बाद शिमला पहुंची ट्रेन, लौट आई रौनक
इस बीच शिमला के लोगों और पर्यटकों के लिए एक राहतभरी खबर आई है। 15 दिन के लंबे इंतजार के बाद शनिवार को पहली बार ट्रेन शिमला रेलवे स्टेशन तक पहुंची। समरहिल के पास रेलवे पुल निर्माण कार्य के चलते पिछले दो हफ्तों से कालका-शिमला रेल सेवा केवल तारादेवी स्टेशन तक ही सीमित थी। ट्रेन सेवा बाधित होने से पर्यटकों को भारी असुविधा हो रही थी। उन्हें या तो टैक्सी से सफर करना पड़ रहा था या फिर लंबी दूरी पैदल तय करनी पड़ रही थी।
ट्रेन सेवा बहाल होने से रेलवे स्टेशन पर रौनक लौट आई है। पर्यटकों से भरी ट्रेन जैसे ही शिमला स्टेशन पर पहुंची, स्टेशन परिसर में उल्लास की लहर दौड़ गई। स्टेशन पर मौजूद स्थानीय कारोबारियों के चेहरे भी खिल उठे क्योंकि रेलवे सेवा के ठप होने से उनका व्यवसाय प्रभावित हो रहा था। स्टेशन के आसपास के होटल, ढाबे और टूर गाइड अब फिर से उम्मीदों से भर गए हैं।
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हिन्दुस्थान समाचार / उज्जवल शर्मा