डॉ. मसूद की पुण्यतिथि पर श्रद्धांजलि अर्पित की गई, मुख्यमंत्री ने मसूद ए चैधरी के जीवन पर समर्पित पुस्तकों का किया विमोचन
जम्मू, 16 दिसंबर (हि.स.)। जम्मू के छन्नी हिम्मत स्थित गुर्जर देश चैरिटेबल ट्रस्ट में दिवंगत डॉ. मसूद ए चैधरी, पूर्व अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक और बाबा गुलाम शाह बादशाह विश्वविद्यालय के संस्थापक कुलपति के जीवन, दृष्टिकोण और अनुकरणीय योगदान को भावभीनी
Tributes paid to Dr Masood on his death anniversary, CM releases books dedicated to the life of Masood A. Chaudhary


जम्मू, 16 दिसंबर (हि.स.)। जम्मू के छन्नी हिम्मत स्थित गुर्जर देश चैरिटेबल ट्रस्ट में दिवंगत डॉ. मसूद ए चैधरी, पूर्व अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक और बाबा गुलाम शाह बादशाह विश्वविद्यालय के संस्थापक कुलपति के जीवन, दृष्टिकोण और अनुकरणीय योगदान को भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित करने के लिए एक गंभीर और गरिमामय कार्यक्रम आयोजित किया गया।

इस कार्यक्रम में मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला मुख्य अतिथि के रूप में उपस्थित थे। उपस्थित लोगों में जम्मू-कश्मीर राष्ट्रीय सम्मेलन के अध्यक्ष और जम्मू-कश्मीर के पूर्व मुख्यमंत्री डॉ. फारूक अब्दुल्ला, मंत्री जावेद अहमद राणा भी उपस्थित रहे। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने डॉ. मसूद ए चैधरी के जीवन, विचार और विरासत को समर्पित तीन पुस्तकों का विमोचन किया। इन पुस्तकों के विमोचन को डॉ. मसूद ए चैधरी के बौद्धिक, प्रशासनिक और मानवीय मूल्यों को प्रलेखित और प्रसारित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम बताया गया।

सभा को संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री उमर अब्दुल्ला ने डॉ. मसूद के उल्लेखनीय जीवन सफर पर प्रकाश डाला और उन्हें एक दूरदर्शी प्रशासक, असाधारण क्षमता वाले संस्था निर्माता और आने वाली पीढ़ियों के लिए एक प्रेरणादायक आदर्श बताया। उन्होंने पुलिसिंग में एक विशिष्ट करियर से अकादमिक जगत में डॉ. मसूद के संक्रमण की सराहना की, जहां उन्होंने एक दूरस्थ क्षेत्र में उच्च शिक्षा के केंद्र के रूप में बीजीएसबीयू की नींव रखी। मुख्यमंत्री ने डॉ. मसूद की बौद्धिक और सामाजिक विरासत को संरक्षित और बढ़ावा देने में गिरजर देश चैरिटेबल ट्रस्ट की अग्रणी भूमिका की भी सराहना की।

डॉ. फारूक अब्दुल्ला ने डॉ. मसूद को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए उन्हें सत्यनिष्ठा, दूरदर्शिता और सामाजिक न्याय के प्रति गहरी प्रतिबद्धता वाला व्यक्ति बताया। उन्होंने गुर्जर-बकरवाल और अन्य आदिवासी समुदायों से डॉ. मसूद के जीवन भर के दृष्टिकोण के अनुरूप शिक्षा को सशक्तिकरण के प्राथमिक साधन के रूप में अपनाने का आह्वान किया। मंत्री जावेद अहमद राणा ने अपने बड़े भाई डॉ. मसूद के मार्गदर्शन, मूल्यों और शिक्षाओं के बारे में भावुकता और कृतज्ञता व्यक्त करते हुए कहा कि इनका उनके व्यक्तिगत दृष्टिकोण और राजनीतिक यात्रा को आकार देने में निर्णायक भूमिका रही है। इससे पहले जीडीसीटी के पूर्व अध्यक्षों, वरिष्ठ अधिकारियों, न्यायविदों, राजनीतिक नेताओं और समुदाय प्रतिनिधियों सहित कई वक्ताओं ने सार्वजनिक सेवा, उच्च शिक्षा और सामाजिक उत्थान के क्षेत्रों में डॉ. मसूद के जीवन और अमिट योगदान पर प्रकाश डाला। वक्ताओं ने डॉ. मसूद की शिक्षा, समानता और समावेशी विकास की दृष्टि को आगे बढ़ाने और उनके आदर्शों को समाज के समग्र हित के लिए निरंतर कार्रवाई में बदलने का संकल्प लिया।

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हिन्दुस्थान समाचार / सचिन खजूरिया