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जयपुर, 30 अप्रैल (हि.स.)। शासन सचिव, सहकारिता शुचि त्यागी ने सोमवार को प्रदेश में चल रही समर्थन मूल्य पर गेहूं की खरीद प्रक्रिया, किसानों को समय पर भुगतान, फील्ड में खरीद की सतत मोनेटरिंग एवं खरीद की गति को बढाने के लिये समीक्षा की। उन्होंने समर्थन मूल्य पर विक्रय करने वाले सभी किसानों को निर्धारित समयावधि में ऑनलाइन भुगतान सुनिश्चित करने के लिये निर्देश प्रदान किये।
उन्होंने कहा कि प्रदेश में सभी विक्रय केन्द्रों की सतत मोनेटरिंग की जावे ताकि जो भी किसान समर्थन मूल्य पर गेहूं का विक्रय करना चाहता है, को किसी प्रकार की परेशानी न हो। उन्होनें निर्देश दिये कि प्रदेश में गर्मी के मौसम को देखते हुये सभी खरीद केन्द्रों पर पर्याप्त छाया एवं पानी की व्यवस्था भी की जावे तथा खरीद की गति को बढायें। उन्होंने निर्देश दिये कि भारत सरकार एवं राज्य सरकार द्वारा समर्थन मूल्य गेहूं खरीद योजना में दी गई छूट का अधिकाधिक प्रचार-प्रसार करें ताकि ज्यादा से ज्यादा किसानों को योजना का लाभ मिल सके।
रजिस्ट्रार, सहकारिता अर्चना सिंह ने बताया कि राजफैड़ द्वारा अब तक 2799 किसानों से 22 हजार 900 टन से अधिक गेहूं की खरीद राशि लगभग 55 करोड़ रुपये की गई है। भारत सरकार द्वारा गेहूं का समर्थन मूल्य 2275 रुपये प्रति क्विंटल निर्धारित किया हुआ है एवं राज्य सरकार द्वारा 125 रुपये प्रति क्विंटल की दर से किसानों को बोनस दिया जा रहा है। इस प्रकार किसान को गेहूं का 2400 रुपये प्रति क्विंटल की दर से किसान के खाते में ऑनलाईन प्रक्रियानुसार भुगतान किया जा रहा है।
प्रबंध निदेशक, राजफैड नारायण सिंह ने बताया कि खाद्य मंत्रालय, भारत सरकार द्वारा विभिन्न मौसमी कारणों को ध्यान में रखते हुये 23 अप्रेल को पत्र जारी कर गेहूं के गुणवत्ता मापदण्डों में छूट प्रदान की गई है। उन्होंने बताया कि अपरिपक्व एवं टूटे-सिकुडे हुए दाने के गेहूं की अधिकतम सीमा छह प्रतिशत निर्धारित थी जिसे अब बीस प्रतिशत तक बढ़ा दिया गया है तथा गेहूं की चमक की सीमा 70 प्रतिशत तक स्वीकार्य है।
सिंह ने बताया कि कुछ किसानों की ऑनलाइन गिरदावरी में गेहूं के जगह अन्य जिन्स जैसे सरसों, चना इत्यादि अंकित हो गया है तो ऐसे किसानों को 22 अप्रेल को पत्र जारी कर खाद्य विभाग, राजस्थान सरकार द्वारा राहत प्रदान की गई है। अब ऐसे किसान पटवारी प्रमाणित ऑफलाईन गिरदावरी लाकर अपनी गेहूं की उपज को क्रय केन्द्रों पर लाकर समर्थन मूल्य पर विक्रय कर सकते है।
राज्य में गेहूं खरीद से संबंधित समस्याओं के निराकरण हेतु हैल्पलाइन नम्बर 18001806030 स्थापित किया हुआ है। जहॉ किसान खरीद संबंधी समस्याओं का समाधान प्राप्त कर सकते है।
हिन्दुस्थान समाचार/संदीप/ईश्वर