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गुवाहाटी, 08 सितम्बर (हि.स.)। असम के मुख्यमंत्री डॉ. हिमंत बिस्व सरमा ने सोमवार को घोषणा की कि जालुकबाड़ी स्थित भारत रत्न डॉ. भूपेन हजारिका के समाधि स्थल का नाम अब से ‘समन्वय तीर्थ’ होगा।
मुख्यमंत्री ने कहा कि इस नामकरण के पीछे उद्देश्य डॉ. हजारिका के जीवन दर्शन और संदेश को सम्मानित करना है, जिन्होंने अपने गीतों और विचारों से समाज में एकता, भाईचारा और सांस्कृतिक समन्वय की भावना जगाई। उन्होंने बताया कि भूपेन दा का योगदान केवल संगीत और फिल्मों तक सीमित नहीं था, बल्कि उन्होंने असम व देशभर की विविध परंपराओं और भाषाओं को जोड़ने का कार्य किया।
डॉ. सरमा ने यह भी आश्वस्त किया कि राज्य सरकार डॉ. भूपेन हजारिका के कार्यों को वैश्विक स्तर पर संरक्षित और प्रचारित करने के लिए प्रतिबद्ध है। इसके तहत उनकी जन्मशती वर्षगांठ के अवसर पर कई सांस्कृतिक और शैक्षणिक कार्यक्रमों का आयोजन किया जाएगा।
भारत रत्न से सम्मानित ‘ब्रह्मपुत्र के गायक’ कहे जाने वाले डॉ. भूपेन हजारिका की रचनाएं आज भी लोगों को प्रेम, मानवता और सौहार्द का अमर संदेश देती हैं।
हिन्दुस्थान समाचार / श्रीप्रकाश