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बलरामपुर, 5 सितंबर (हि.स.)। जिले के रामानुजगंज में गणेश उत्सव धूमधाम से मनाया जा रहा है। दर्जनों जगहों पर भगवान गणेश की प्रतिमा स्थापित कर पूजा अर्चना की जा रही है। पूरा इलाका भक्ति में डूबा है। अपार श्रद्धा के साथ खुशी के माहौल के बीच लोग गणेश प्रतिमा के विसर्जन को लेकर घबराए हुए हैं। उनकी घबराहट विसर्जन के दौरान भीषण आवाज में बजने वाले फिल्मी एवं अभद्र गीत हैं। खासकर वृद्धजनों में इसे लेकर चिंता व्याप्त है। आयोजकों के द्वारा मनमाने तरीके से डीजे का संचालन किया जाता है। इसे रोकने हेतु पुलिस एवं प्रशासन की टीम तैनात नहीं रहती है लेकिन वे भी मूकदर्शक बने रहते हैं।
गणेश पूजा के आयोजक एवं कार्यकर्ताओं के बीच डीजे साउंड को लेकर प्रतिस्पर्धा की स्थिति रहती है। विसर्जन में यह प्रदर्शित किया जाता है कि सबसे बड़ा डीजे साउंड किसका है और किसने इस पर सबसे ज्यादा खर्च किए।
उल्लेखनीय है कि नगर में गणेश पूजा के विसर्जन के दौरान झारखंड, बिहार, और उत्तरप्रदेश से भारी वाहनों में लोड कर डीजे सिस्टम लगाया जाता है। इस कानफोडू आवाज से नगरवासी दहल जाते हैं। डीजे साउंड को लेकर उच्च न्यायालय सख्त है। साउंड को लेकर जिला प्रशासन काे कार्रवाई करने निर्देशित किया गया है। ऐसा न करने पर कोलाहल अधिनियम के तहत एक लाख का जुर्माना और पांच वर्ष की सजा का भी प्रावधान है।
जिले के एसपी वैभव बेंकर ने बताया कि, सांस्कृतिक कार्यक्रम के नाम पर डीजे बजाना बिल्कुल गलत है। डीजे के कंपन से पूरा समाज परेशान हो जाता है। विसर्जन में कीर्तन ढोल नगाड़ों का भी उपयोग हो सकता है। इस बार यदि विसर्जन में आयोजक नहीं मानते है ताे कठोर कार्रवाई की जाएगी।
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हिन्दुस्थान समाचार / विष्णु पांडेय