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-किसानों को चिंता, सरकार और प्रशासन नहीं दे रहे ध्यान
गुरुग्राम, 3 सितंबर (हि.स.)। जिला में भारी बरसात के कारण बर्बाद हुई फसलों के मुआवजे को लेकर पोर्टल पर पंजीकरण कराना जरूरी है। हैरत की बात है कि अब तक गुरुग्राम जिला का पोर्टल पंजीकरण के लिए अभी तक नहीं खुला है। किसानों में इससे रोष है। किसान चिंतित हैं। सरकार और प्रशासन से जल्द पोर्टल खोलने की मांग की है। सोहना क्षेत्र से किसान अज्जू यादव, वेदराम यादव, महेश शर्मा, विक्रम शर्मा, बबलू यादव, बिल्लू यादव, रिषीपाल यादव, नीरज यादव, नारू यादव, रवि यादव, रूपचंद यादव, तेजपाल शर्मा, सूबे यादव व सूरज यादव ने कहा कि बरसात के कारण क्षेत्र में बाजरे की फसल पूरी तरह से बर्बाद हो गई है। किसानों ने अपनी बाजरे की फसल से उम्मीदें पाल रखी थी, जिन पर बरसात ने पानी फेर दिया है। अगस्त से शुरू हुई बरसात अब तक जारी है। इससे खेतों में पकी खड़ी बाजरे की फसल, गवार की फसल बर्बादी की भेंट चढ़ गई है। विभिन्न क्षेत्रों में बाढ़ के हालत हैं। गुरुग्राम जिला भी पानी-पानी है। ऐसे में यहां किसानों को और भी डर सता रहा है। उन्हें अब फसल से किसी प्रकार का लाभ होने की उम्मीद नहीं है। किसानों ने कहा कि चरखी दादरी के बाढड़़ा क्षेत्र में विधायक सुनील सांगवान द्वारा किसानों की समस्या को जाना और समझा। उन्होंने अपने क्षेत्र के किसानों को मुआवजा देने की मांग को लेकर मुख्यमंत्री नायब सिंह सैनी को पत्र सौंपा। किसानों ने यह भी कहा कि सरकार ने पलवल व नूंह जिला में पोर्टल खोल दिया है। किसान फसलों का पंजीकरण करा रहे हैं। गुरुग्राम में भी खड़ी फसल बर्बाद हो गई है। पोर्टल ना खोलना किसानों के साथ अन्याय है।
हिन्दुस्थान समाचार / ईश्वर