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चंडीगढ़, 5 अगस्त (हि.स.)। डेरा सच्चा सौदा प्रमुख गुरमीत राम रहीम को पैरोल दिए जाने पर शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के प्रधान हरजिंदर सिंह धामी ने आपत्ति जताई है। राम रहीम को मंगलवार की सुबह रोहतक की सुनारियां जेल से 40 दिन की पैरोल पर बाहर निकाला गया है।
धामी ने हरियाणा सरकार की आलोचना करते हुए कहा कि अगर एक व्यक्ति के लिए नियम बदले जा सकते हैं, तो जेल में बंद उन सिखों के लिए भी नियम बनाए जाएं जिन्होंने अपनी सजा पूरी कर ली है। धामी ने कहा कि ये बहुत दुख की बात है कि राम रहीम जैसे सजायाफ्ता कैदी को बार-बार पैरोल दी जा रही है, लेकिन जिन सिखों ने अपनी सजा पूरी कर ली, उन्हें अब तक रिहा नहीं किया गया। उन्होंने इसे सरकार की दोहरी नीति बताया और इसे लेकर नाराजगी जताई।
एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने कहा कि वह कई बार बंदी सिखों से मुलाकात कर चुके हैं और यह मुद्दा बार-बार उठाते रहे हैं, लेकिन बंदी सिख उन्हें शिकायत ना करने की बात बार-बार कहते हैं। धामी ने स्पष्ट कहा कि कानून सभी के लिए बराबर होना चाहिए और सरकार को दोहरे मापदंड नहीं अपनाने चाहिए।
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हिन्दुस्थान समाचार / संजीव शर्मा