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रांची, 3 अगस्त (हि.स.)। अखिल भारतीय भोजपुरी मगही मैथिली अंगिका मंच की बैठक हरमू पटेल पार्क स्थित पानी टंकी के पास रविवार को हुई।
बैठक की अध्यक्षता मंच के अध्यक्ष कैलाश यादव ने किया। बैठक में विशेष रूप से भाषाई समूह के प्रबुद्ध लोग शामिल हुए।
बैठक के दौरान निर्णय लिया गया कि इस विषय को लेकर चरणबद्ध कार्यक्रम कर लोगों को एकजुट करने का काम किया जाएगा।
बैठक में कहा कि भोजपुरी, मगही, मैथिली, अंगिका और भूमिज बोलने वाले क्षेत्रों के तमाम जनप्रतिनिधियों को मंच की ओर से ज्ञापन देकर अवगत कराया जाएगा।
बैठक में निर्णय लिया गया कि भाषायी विवाद को लेकर मंच की एक विशेष कमिटी का गठन किया गया है। इसके लिए
नामों की घोषणा आगामी दिनों में कर दी जाएगी।
बैठक में मंच के अध्यक्ष कैलाश यादव ने कहा कि इस विषय को लेकर भोजपुरी, मगही, मैथिली, अंगिका और भूमिज बोलने वाले सत्तापक्ष के प्रमुख जनप्रतिनिधयों से मिलकर ज्ञापन दिया जाएगा। जिन जनप्रतिनिधियों को ज्ञापन सौंपा जाएगा उनमें मंत्री राधाकृष्ण किशोर (कांग्रेस), विधायक संजय सिंह यादव, विधायक नरेश सिंह (राजद), अनंत प्रताप देव (झामुमो), मंत्री संजय प्रसाद यादव (गोड्डा), मंत्री दीपिका पांडेय सिंह (कांग्रेस), प्रदीप यादव (कांग्रेस), सुरेश पासवान राजद (देवघर), मंत्री हफ़ीजुल हसन (झामुमो) और रविन्द्र नाथ महतो (स्पीकर) शामिल हैं।
यादव ने कहा कि राज्य में भोजपुरी, मगही, मैथिली, अंगिका और भूमिज बोलने वाले करोड़ों में आबादी है। इसलिए भाषाई अस्मिता के लिए संघर्ष बड़े रूप में की जाएगी और किसी भी हाल में समझौता नहीं किया जाएगा।
यादव ने कहा कि राज्य के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से मंच करता है कि द्वितीय राजभाषा में शामिल भोजपुरी, मगही, मैथिली, अंगिका और भूमिज को नियोजन नीति में समाहित करें।
बैठक में रामपुकार राय (शिक्षक), ब्रज कुमार झा (लेखा अधिकारी), सुधीर गोप, चंद्रदेव मंडल, सुनील पांडेय, विभाकर कुमार, डॉ निराला पाठक (शिक्षक), संतोष यादव, मिथुन चौधरी सहित कई लोग मौजूद थे।
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हिन्दुस्थान समाचार / Vinod Pathak