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छात्रों से मारपीट के असली जिम्मेवारों को बचाने का प्रयास कर रहा हकृवि प्रशासनमारपीट के समय मौके पर थे रजिस्ट्रार, उन्हीं के नियंत्रण में काम कर रही पूरी सिक्योरिटीहिसार, 28 अगस्त (हि.स.)। वरिष्ठ कांग्रेस नेता वजीर सिंह पूनिया ने जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन एवं विवाद सुलझाने के लिए बनी कमेटी से मांग की है कि हकृवि में पिछले दिनों हुए विवाद के लिए जो अधिकारी असल जिम्मेवार है, उन पर कार्रवाई की जानी चाहिए। वर्तमान स्थिति में ऐसा आभास हो रहा है कि हकृवि प्रशासन व पुलिस प्रशासन विवाद के असली जिम्मेवार लोगों पर कार्रवाई करने से बच रहे हैं कुछ लोगों पर कार्रवाई करके इस विवाद पर पर्दा डालने का प्रयास कर रहे हैं।वजीर सिंह पूनिया ने गुरुवार काे कहा कि हकृवि प्रशासन पर आधे अधूरे फैसले करके छात्र वर्ग व आम जनता को गुमराह कर रहा है। उन्होंने कहा कि छात्रों से हुई मारपीट के मामले में अन्य अधिकारियों व सिक्योरिटी कर्मियों पर कार्रवाई करने का ढिंढोरा पीटने वाला हकृवि प्रशासन अपने रजिस्ट्रार के कृत्य पर अभी तक चुप्पी साधे हुए है जबकि उनकी देखरेख में यह पूरा प्रकरण हुआ है। देखा जाए तो पूरे प्रकरण के असली जिम्मेवार ही रजिस्ट्रार है और उन्हीं का हकृवि प्रशासन बचाव कर रहा है। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय की सिक्योरिटी के पूरे नियंत्रक रजिस्ट्रार है और सिक्योरिटी के लिए वर्दियां व फंड आदि का सारा काम रजिस्ट्रार देखते हैं। घटना के दिन रजिस्ट्रार मौके पर खड़े थे, वे छात्रों को धमका भी रहे थे और अशोभनीय भाषा का भी इस्तेमाल कर रहे थे, जिसका जिक्र भी नहीं किया जा सकता। घटना के बाद पुलिस ने उन पर केस भी दर्ज कर रखा है लेकिन न तो उनकी गिरफ्तारी हुई और न ही हकृवि प्रशासन ने उन पर निलंबन या अन्य कोई कार्रवाई की। इससे स्पष्ट है कि मारपीट के समय मौके पर उपस्थित रहने वाले अधिकारी जो पूरी सिक्योरिटी का सर्वेसर्वा है, उसको बचाकर कुछ कर्मचारियों पर कार्रवाई करके छात्रोें को गुमराह किया जा रहा है।वजीर सिंह पूनिया ने कहा कि छात्रों द्वारा मई माह से स्टाइफंड व एलडीवी की सीटों का मामला उठाया जा रहा था। यदि विश्वविद्यालय प्रशासन इन मांगों का समय रहते समाधान करता तो छात्रों से मारपीट, चोटें लगने, धरना, प्रदर्शन व आंदोलन की नौबत नहीं आती। कुलपति कार्यालय के बिल्कुल पास बैठे उनके ओएसडी व एसवीसी ने भी छात्रों की आवाज सुनने का प्रयास नहीं किया, क्या वे इस घटना के जिम्मेवार नहीं है। उन्होंने कहा कि घटना हुई, छात्रों को चोटें आई, पुलिस तक मामला पहुंचा और पुलिस ने रजिस्ट्रार, सीएसओ, सहायक प्रोफेसर राधेश्याम सहित कइयों पर केस दर्ज कर लिया। पुलिस ने राधेश्याम को गिरफ्तार भी कर लिया लेकिन उनके साथ ही रजिस्ट्रार पर भी केस दर्ज हुआ था, उसका क्या हुआ, किसी को पता नहीं है। जहां तक विश्वविद्यालय द्वारा कार्रवाई की बात है, सीएसओ को पद से हटा दिया, पांच सिक्योरिटी गार्डों व सहायक प्रोफेसर को सस्पेंड कर दिया गया, छात्र कल्याण निदेशक से कार्यभार वापिस ले लिया गया लेकिन जिस जिम्मेवार व नियंत्रक अधिकारी रजिस्ट्रार की मौजूदगी में ये कांड हुआ, उस पर विश्वविद्यालय प्रशासन ने अभी तक कोई कार्रवाई नहीं की और न ही केस दर्ज होने के बावजूद उसे गिरफ्तार किया गया। उन्होंने कहा कि रजिस्ट्रार की मौजूदगी में ये घटना होना और विश्वविद्यालय प्रशासन द्वारा इस अधिकारी का बचाव करना काफी कुछ इशारे कर रहा है। कांग्रेस नेता ने जिला प्रशासन, पुलिस प्रशासन व विवाद निपटाने के लिए मंडल आयुुक्त की अध्यक्षता में बनाई गई कमेटी से मांग की कि पहले रजिस्ट्रार पर विभागीय कार्रवाई की जाए और उसे गिरफ्तार किया जाए।
हिन्दुस्थान समाचार / राजेश्वर