छत्तीसगढ़ के बस्तर संभाग में लगातार बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त
-अगले 48 से 72 घंटे तक कई स्थानों पर तेज बारिश की चेतावनी रायपुर, 27 अगस्त (हि.स.)। छत्तीसगढ़ के बस्तर संभाग में लगातार बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। नदी-नाले उफान पर हैं। ओडिशा तट से सटे उत्तर-पश्चिम बंगाल की खाड़ी में बने निम्न दबाव क्षेत्
बस्तर में  झमाझम बारिश का दौर जारी, हाईवे में बाढ़ का पानी


-अगले 48 से 72 घंटे तक कई स्थानों पर तेज बारिश की चेतावनी

रायपुर, 27 अगस्त (हि.स.)। छत्तीसगढ़ के बस्तर संभाग में लगातार बारिश से जनजीवन अस्त-व्यस्त हो गया है। नदी-नाले उफान पर हैं। ओडिशा तट से सटे उत्तर-पश्चिम बंगाल की खाड़ी में बने निम्न दबाव क्षेत्र के कारण राज्य में अगले तीन दिनों तक भारी बारिश के आसार हैं।

मौसम विभाग ने जानकारी दी है कि बस्तर, दंतेवाड़ा, कांकेर, नारायणपुर, बीजापुर और सुकमा जिलों में अगले 48 से 72 घंटे तक कई स्थानों पर तेज से बहुत तेज बारिश हो सकती है। इन जिलों में गरज-चमक के साथ बिजली गिरने का भी अंदेशा है।

मौसम विज्ञान केंद्र रायपुर ने अगले तीन दिनों तक दक्षिणी छत्तीसगढ़ के कई हिस्सों में भारी से अति भारी बारिश का पूर्वानुमान जताया है। इसके अतिरिक्त उत्तरी और मध्य छत्तीसगढ़ के कई इलाकों में सामान्य बारिश होने की संभावना है। दक्षिणी छत्तीसगढ़ के साथ-साथ प्रदेश के उत्तरी जिलों सरगुजा, कोरिया, सूरजपुर, बलरामपुर और जशपुर में मध्यम से भारी बारिश के आसार हैं। वहीं बिलासपुर, मुंगेली और कोरबा जिलों में भी कई जगहों पर अच्छी बारिश दर्ज हो सकती है। रायपुर, धमतरी, महासमुंद, गरियाबंद सहित दुर्ग, राजनांदगांव और कबीरधाम जिलों में हल्की से मध्यम बारिश होगी। हालांकि एक-दो स्थानों पर भारी बारिश भी हो सकती है।

बाढ़ से बिगड़े हालातबस्तर संभाग में भारी बारिश से बाढ़ आ गई है। भारी बारिश के चलते चेरपाल नदी में आई बाढ़ की वजह से करीब 100 गांवों का संपर्क जिला मुख्यालय से कट गया है। इसी बारिश में एनएच 30 की सड़क कट गई है। बाढ़ के कारण बस्तर जिले के मांदर गांव के 85 मकान जलमग्न हो गए। 15 लोगों को एसडीआरएफ की टीम ने नाव से बाहर निकला। वहीं 6 लोग गंभीर स्थिति में फंसे रहने के कारण उनका रेस्क्यू वायु सेना के हेलीकॉप्टर से किया गया। मांदर गांव में राहत शिविर केंद्र बनाया गया है। केशलूर में 15 से ज्यादा गाड़ियों में फंसे 50 से अधिक लोगों का रेस्क्यू किया गया। बाढ़ के कारण जगह-जगह सड़कें टूट गई हैं। जगदलपुर-दंतेवाड़ा मार्ग में बागमुंडी पनेडा के पास सड़क टूट गई है। इससे आवागमन में परेशानी हो रहा है। हालांकि प्रशासन की तरफ से वैकल्पिक व्यवस्था करने की बात कही जा रही है। एनएच 30 की सड़क कटने से पिछले 24 घंटे से आवागमन बाधित है।

बीजापुर जिला प्रशासन से मिली जानकारी के अनुसार सोमवार देर रात से झमाझम बारिश का दौर जारी है। इस वजह से पूरे जिले में जन जीवन अस्त व्यस्त हो गया है।

मुख्यमंत्री ने ली जानकारीबस्तर में बाढ़ की जानकारी मिलने पर मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने जापान से राजस्व सचिव रीना बाबासाहेब कंगाले व बस्तर संभागायुक्त डोमन सिंह से दूरभाष पर चर्चा की और राहत एवं बचाव कार्य के संबंध में जानकारी ली है। उन्हें राजस्व सचिव ने बताया कि राहत और बचाव कार्य पूरी तत्परता से चल रहे हैं और अब तक 68 से अधिक लोगों को सुरक्षित निकाला गया है।

बाढ़ में बही कार, चार की मौत

बस्तर के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक महेश्वर नाग ने बताया कि सोमवार को छत्तीसगढ़ के कांगेर घाटी राष्ट्रीय उद्यान क्षेत्र में एनएच 30 पर दरभा के पास एक हादसे में एक ही परिवार के चार लोगों की मौत हो गई। मृतकों में पति-पत्नी और उनके दो बच्चे शामिल हैं। हादसा उस समय हुआ जब परिवार की कार बाढ़ के पानी में बह गई।

अब तक 852 मिमी. बारिश दर्ज

इस सीजन में प्रदेश में अब तक 852 मिमी. बारिश हो चुकी है, जो सामान्य से केवल 3 फीसदी कम है। सरगुजा जिले में 675 मिमी. के साथ औसत बारिश से 25 फीसदी कम, महासमुंद में 629 मिमी. (21 फीसदी कम), बेमेतरा में 408 मिमी. (49 फीसदी कम) बारिश दर्ज की गई है। राज्य के बलरामपुर में 71 प्रतिशत की अत्याधिक, बस्तर, मोहला-मानपुर और जांजगीर जिले में अधिक तथा अन्य जिलों में सामान्य वर्षा हुई है। सबसे ज्यादा बारिश बारसूर (190 मिमी), बास्तानार (160 मिमी), गीदम (140 मिमी), दरभा (120 मिमी), बड़े बचेली (110 मिमी) और कांकेर-लोहंडीगुड़ा (100 मिमी) में दर्ज की गई।

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हिन्दुस्थान समाचार / केशव केदारनाथ शर्मा