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हल्द्वानी, 8 जुलाई (हि.स.)। उच्च शिक्षा विभाग गुणवत्तापरक शिक्षा के साथ ही अब निर्माण पर भी विशेष फोकस कर रहा है। भविष्य की योजनाओं को देखते हुए अब सरकारी कॉलेजों का निर्माण निजी कॉलेजों की तरह मास्टर प्लान के तहत किया जाएगा।
प्रदेश में कुमाऊं विश्वविद्यालय, श्रीदेव सुमन और सोबन सिंह जीना यूनिवर्सिटी से 118 कॉलेज संबद्ध हैं। इनमें राजकीय महाविद्यालय गौलापार को छोड़कर लगभग सभी कॉलेजों के अपने भवन बन चुके हैं। ये कॉलेज मास्टर प्लान के तहत नहीं बनाए गए हैं। इस कारण विद्यार्थियों और कर्मचारियों को कई प्रकार की दिक्कतों का सामना करना पड़ता है।
ऐसे में अब आने वाले समय में कॉलेज के भवनों का निर्माण और मरम्मत कार्य एक सुनियोजित तरीके से किया जाएगा। इसके तहत निर्माण से पहले पूरा नक्शा तैयार किया जाएगा। स्टाफ और विद्यार्थियों की सुविधाओं के अनुरूप कॉलेज में कक्ष, कक्षाएं,
परिसर, प्रयोगशाला, लाइब्रेरी, हॉस्टल और शौचालय आदि बनाए जाएंगे। इनमें सभी प्रकार की सुविधाओं का ध्यान रखा जाएगा।
पुराने कॉलेजों के ढांचे में बदलाव: प्रदेश के कई कॉलेजों के भवन पुराने हो चुके हैं। अब पुराने हो चुके भवनों को भी मास्टर प्लान से निर्मित किया जाएगा। क्षतिग्रस्त हो चुके भवनों की जगह नए भवन बनेंगे। पुराने ढांचे को योजना के अनुरूप आकर्षक रूप दिया जाएगा।
इस संबंध में उच्च शिक्षा उपनिदेशक प्रो. आरएस भाकुनी का कहना है कि भविष्य की योजनाओं को ध्यान में रखते हुए मास्टर प्लान के तहत कॉलेजों का निर्माण किया जाएगा। इस योजना से कॉलेजों को आकर्षक और सुंदर रूप दिया जाएगा।
हिन्दुस्थान समाचार / DEEPESH TIWARI