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नई दिल्ली, 31 जुलाई (हि.स.)। दिल्ली उच्च न्यायालय के जज ने हथियार डीलर संजय भंडारी से जुड़े मनी लॉन्ड्रिंग के मामले में भगोड़ा घोषित करने के ट्रायल कोर्ट के आदेश को चुनौती देने वाली याचिका पर सुनवाई से खुद को अलग कर लिया है। जस्टिस गिरीश कथपलिया की बेंच ने इस मामले की सुनवाई से खुद को अलग करते हुए दूसरी बेंच के समक्ष 2 अगस्त को सुनवाई करने का आदेश दिया।
सुनवाई के दौरान जब जस्टिस गिरीश कथपलिया आदेश लिखवा रहे थे तो दोनों पक्षों के वकील सुनवाई की अगली तिथि पर एकमत नहीं हो रहे थे। इससे नाराज जज ने इस मामले की सुनवाई से खुद को अलग कर लिया। सुनवाई के दौरान संजय भंडारी की ओर से पेश वरिष्ठ वकील कपिल सिब्बल ने कहा कि इस मामले पर सुनवाई आज ही की जाए या अगर कुछ दिन बाद सुनवाई हो तो ईडी को निर्देश दें कि वे संजय भंडारी की संपत्तियों को जब्त न करे। इसका ईडी के वकील जोहेब हुसैन ने विरोध करते हुए कहा कि कोर्ट कोई भी अंतरिम आदेश पारित नहीं करे। ईडी ने कहा कि इस याचिका का उसने विरोध किया है और उस पर एक अगस्त को सुनवाई की जाए। तब सिब्बल ने कहा कि आप सभी फैसले अपने पक्ष में लिखवाइए, हमें कोई फर्क नहीं पड़ता। उसके बाद जज ने खुद को सुनवाई से अलग कर लिया।
पांच जुलाई को राऊज एवेन्यू कोर्ट ने संजय भंडारी को भगोड़ा घोषित कर दिया था। भगोड़ा घोषित करने के बाद कोर्ट आरोपित की संपत्तियों की कुर्की और जब्ती की कार्रवाई शुरु करता है। राऊज एवेन्यू कोर्ट ने दिसंबर 2023 में ईडी की ओर से संजय भंडारी के खिलाफ दाखिल पूरक चार्जशीट पर संज्ञान लिया था। पूरक चार्जशीट में संयुक्त अरब अमीरात के बिजनेसमैन सीसी थम्पी और ब्रिटेन स्थित व्यवसायी सुमित चड्ढा का नाम शामिल किया है। संजय भंडारी कथित तौर पर कांग्रेस सांसद प्रियंका गांधी के पति रॉबर्ट वाड्रा के करीबी सहयोगी हैं। ईडी के मुताबिक उसने सुमित चड्ढा और उनकी पत्नी को समन जारी किया था लेकिन दोनों जांच एजेंसी के सामने पेश नहीं हुए।
ईडी की चार्जशीट में कहा गया है कि यूपीए के शासनकाल में भंडारी ने कमीशन लिया और लंदन में संपत्ति खरीदी जिसके लाभार्थी मालिक रॉबर्ट वाड्रा हैं। रॉबर्ट वाड्रा ने ईडी के आरोपों को गलत बताया था। इस मामले में पहले ईडी ने हथियार डीलर संजय भंडारी के मनी लॉन्ड्रिंग मामले में दक्षिण दिल्ली में पंचशील पार्क में पंचशील शॉपिंग कॉम्प्लेक्स में स्थित संपत्ति को कब्जे में लिया था जो कि एसबी हॉस्पिटेलिटी एंड सर्विसेज प्राइवेट लिमिटेड के नाम पर रजिस्टर्ड कराया गया है। ईडी ने 2017 में भंडारी और दूसरे आरोपितों के खिलाफ मामला दर्ज किया था।
हिन्दुस्थान समाचार/संजय
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हिन्दुस्थान समाचार / वीरेन्द्र सिंह