Enter your Email Address to subscribe to our newsletters
कानपुर, 31 जुलाई (हि.स.)। मैं पूरे आईआईटी कानपुर समुदाय की ओर से प्रो. अजीत कुमार चतुर्वेदी को बनारस हिंदू विश्वविद्यालय के कुलपति के रूप में उनकी नियुक्ति पर हार्दिक बधाई देता हूँ। उनकी नियुक्ति आईआईटी कानपुर से जुड़ी एक शानदार शैक्षणिक यात्रा में एक और महत्वपूर्ण क्षण है और मुझे विश्वास है कि वे बीएचयू को और भी ऊँचाइयों पर ले जाएँगे। यह आईआईटी कानपुर की उस विरासत में एक नया आयाम जोड़ता है जिसमें ऐसे शैक्षणिक नेतृत्व को बढ़ावा दिया जाता है जो आगे चलकर भारत में उच्च शिक्षा के भविष्य को आकार देते हैं। यह बातें गुरूवार को आईआईटी कानपुर निदेशक प्रो मणींद्र अग्रवाल ने कही।
आगे कहा, भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी कानपुर) को यह घोषणा करते हुए गर्व हो रहा है कि विद्युत अभियांत्रिकी विभाग के प्रोफेसर, प्रो. अजीत कुमार चतुर्वेदी को तीन वर्ष की अवधि या 70 वर्ष की आयु तक, जो भी पहले हो, बनारस हिंदू विश्वविद्यालय का कुलपति नियुक्त किया गया है।
आईआईटी कानपुर के पूर्व छात्र, प्रो. चतुर्वेदी ने 1986 में बीटेक, 1988 में एमटेक और 1995 में विद्युत अभियांत्रिकी में पीएचडी की उपाधि प्राप्त की। उन्होंने अपने शानदार करियर के दौरान कई प्रमुख शैक्षणिक और प्रशासनिक पदों पर कार्य किया है। प्रो. चतुर्वेदी ने 2017 से 2022 तक आईआईटी रुड़की के निदेशक के रूप में भी कार्य किया और जनवरी 2017 से अगस्त 2018 तक भारतीय उन्नत अध्ययन संस्थान शिमला और जुलाई 2020 से जनवरी 2022 तक आईआईटी मंडी के निदेशक का अतिरिक्त प्रभार संभाला। आईआईटी रुड़की में अपना कार्यकाल पूरा करने के बाद वह अपनी शैक्षणिक भूमिका में आईआईटी कानपुर में पुनः शामिल हो गए।
प्रो चतुर्वेदी का शोध योगदान संचार सिद्धांत और वायरलेस संचार, विशेष रूप से तरंग आकार निर्धारण, अनुक्रम डिज़ाइन और प्रणालियों के क्षेत्रों में फैला हुआ है। उन्हें शिक्षक पुरस्कार, आईआईटी कानपुर विशिष्ट शिक्षक पुरस्कार और एनटीयू, सिंगापुर में टैन चिन तुआन फ़ेलोशिप सहित कई पुरस्कारों से सम्मानित किया गया है। 2023 में उन्हें अनुसंधान, शिक्षण और शैक्षणिक नेतृत्व में उनके उत्कृष्ट योगदान के लिए आईआईटी कानपुर द्वारा इंस्टीट्यूट फ़ेलो पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।
हिन्दुस्थान समाचार / रोहित कश्यप