नागपंचमी से वैद्यजी का मंदिर झूलनाेत्सव प्रारंभ
नागपंचमी से वैद्यजी का मंदिर झूलनाेत्सव प्रारंभ


अयोध्या, 29 जुलाई (हि.स.)। श्रावण शुक्ल तृतीया अर्थात हरियाली तीज से रामनगरी के सुप्रसिद्ध सावन झूला मेला की शुरुवात हो चुकी है। जाे 13 दिवसीय मेला है, जिसका समापन सावन शुक्ल पूर्णिमा रक्षाबंधन तक चलेगा। मठ-मंदिरों में इन दिनाें युगल सरकार के झूलन महोत्सव का कार्यक्रम चल रहा। सुभव्य झूलन झांकी सजाई जा रही है, जिसका दर्शन कर साधु-संत, भक्तजन भावविभोर और धन्य हो रहे हैं। भगवान के झूलनाेत्सव से पूरी अयाेध्यानगरी आहलादित है। झूलन एवं गीताें से मठ-मंदिर गुंजायमान हैं।

इसी कड़ी में सुप्रसिद्ध पीठ वैद्यजी का मंदिर रामपथ मार्ग श्रृंगारहाट, अयोध्या धाम में नागपंचमी से झूलन महोत्सव प्रारंभ हो चुका है। जाे सावन शुक्ल पूर्णिमा अर्थात रक्षाबंधन तक चलेगा। झूलन महोत्सव शनै: शनै: अपने चरमाेत्कर्ष पर पहुंच रहा है। मंदिर में विराजमान युगल सरकार काे नित्य सायंकाल झूलन पर पधराकर आरती-पूजन कर झूला झुलाया जा रहा है। वैद्यजी का मंदिर के वर्तमान पीठाधिपति महंत राजेंद्र दास महाराज युगल सरकार को झूला झुलाते हुए भाव के अंतरंग में आनंदित हो रहे हैं। वहीं नामचीन और कत्थक कलाकारगण अनेकानेक झूलन के पद झूलन में सज-धज के युगल सरकार बैठे हैं.. आदि गाकर युगल सरकार के झूलन उत्सव की शाेभा बढ़ा रहे हैं। कलाकारों द्वारा झूलनाेत्सव में चार-चांद लगाया जा रहा है। इससे श्राेतागण मंत्रमुग्ध हुए। मठ में सायंकाल से लेकर देररात्रि तक झूलनाेत्सव का कार्यक्रम चल रहा है। पीठ के पीठाधिपति ने कलाकारों को न्याैछावर भी भेंट किया।

महंत राजेंद्र दास महाराज ने कहा कि नागपंचमी से मठ में झूलनाेत्सव शुरू हो गया है। जाे सावन शुक्ल पूर्णिमा तक चलेगा। युगल सरकार के झूलन झांकी का दर्शन करने मात्र से अपार पुण्य की प्राप्ति हाेती है। जाे भी व्यक्ति भगवान श्रीराम व मां सीता के झूलन झांकी का दर्शन करता है। उसे सांसारिक माताओं की गाेद में कभी नही झूलना पड़ता है। वह सर्वथा के आवागमन से मुक्त हाे जाता है और उसका उद्धार हाे जाता है।

हिन्दुस्थान समाचार / पवन पाण्डेय