गुणवत्तापूर्ण शिक्षा हर विद्यार्थी का अधिकार- जल संसाधन मंत्री सुरेश सिंह रावत
गुणवत्तापूर्ण शिक्षा हर विद्यार्थी का अधिकार — जल संसाधन मंत्री सुरेश सिंह रावत


अजमेर, 26 जुलाई (हि.स.)। जल संसाधन मंत्री एवं पुष्कर विधायक सुरेश सिंह रावत ने कहा कि गुणवत्तापूर्ण शिक्षा हर विद्यार्थी का पहला अधिकार है और इसे सुनिश्चित करना सरकार की प्राथमिक जिम्मेदारी है। वे शनिवार को बीर दांता स्थित हुकुमचंद बीएड कॉलेज में आयोजित प्रधानाचार्य अजमेर ग्रामीण वाकपीठ संगोष्ठी के समापन समारोह में मुख्य अतिथि के रूप में संबोधित कर रहे थे।

मंत्री रावत ने कहा कि पुष्कर विधानसभा क्षेत्र के सभी विद्यालयों में भौतिक संसाधनों की कोई कमी नहीं रहने दी जाएगी। उन्होंने घोषणा की कि प्रत्येक विद्यालय में उन्नत लाइब्रेरी, विज्ञान, गणित एवं जीवविज्ञान प्रयोगशालाएं, साथ ही ओपन जिम की प्रभावशाली व्यवस्था सुनिश्चित की जाएगी, जिससे छात्रों का सर्वांगीण विकास हो सके। उन्होंने शिक्षकों से आह्वान किया कि वे शिक्षा को केवल नौकरी नहीं, बल्कि एक प्रेरणादायी एवं उद्देश्यपूर्ण प्रक्रिया के रूप में अपनाएं।

10,000 पौधों का होगा वितरण – हर विद्यालय परिसर में हरियाली का संकल्प

रावत ने इस अवसर पर एक वृहद वृक्षारोपण अभियान की भी घोषणा की, जिसके अंतर्गत 10,000 बड़े पौधों का वितरण किया जाएगा। उन्होंने कहा कि यह पहल विद्यालय परिसरों को हराभरा और पर्यावरण के अनुकूल बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम होगी।

'विमर्शार्थ' शोध पत्रिका का हुआ विमोचन

इस अवसर पर जल संसाधन मंत्री रावत ने हुकुमचंद नोबल इंस्टीट्यूट ऑफ साइंस एंड टेक्नोलॉजी द्वारा प्रकाशित शोध पत्रिका ‘विमर्शार्थ’ का विमोचन भी किया। कॉलेज निदेशक डॉ. दिनेश चन्द्र शर्मा व प्राचार्य डॉ. रीता पारीक द्वारा संपादित इस पत्रिका की सराहना करते हुए उन्होंने कहा कि यह नवाचार आधारित शोध प्रकाशन उच्च शिक्षा को नई दिशा प्रदान करेगा। मंत्री ने शिक्षकों से आह्वान किया कि वे नई शिक्षा नीति को अपनाकर अपने विचारों को वर्तमान संदर्भों से जोड़ें और नवाचारी शोध में भाग लें।

सम्मेलन में जुटे 80 से अधिक प्रधानाचार्य

कार्यक्रम की शुरुआत में मुख्य ब्लॉक शिक्षा अधिकारी डॉ. राकेश कटारा ने मंत्री रावत, प्रधान प्रतिनिधि श्री अर्जुन सिंह एवं उप प्रधान बद्री गुर्जर का माल्यार्पण कर स्वागत किया। संगोष्ठी के अध्यक्ष सत्यनारायण वैष्णव ने विश्वास व्यक्त किया कि रावत के नेतृत्व में अजमेर ग्रामीण क्षेत्र शीघ्र ही शिक्षा के क्षेत्र में राज्य में अग्रणी स्थान प्राप्त करेगा।

संगोष्ठी में रामविलास जांगिड़, सीमा खंडेलवाल, विनोद मोतियानी, प्रेम शंकर, राजकुमार चतुर्वेदी, सीमा शर्मा, जूली त्रिपाठी, सुमन चौहान, सीमा अग्रवाल, मुकेश कुमार सहित 80 से अधिक प्रधानाचार्य शामिल हुए। कार्यक्रम का संचालन वर्तिका शर्मा ने किया।

---------------

हिन्दुस्थान समाचार / संतोष