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अलीपुरद्वार, 25 जुलाई (हि.स.)। राज्य में एक बार फिर एनआरसी नोटिस को लेकर हड़कंप मचा हुआ है। इस बार फालाकाटा की निवासी अंजलि शील को असम के फॉरेनर्स ट्राइब्यूनल से नोटिस भेजा गया है, जिसमें उन्हें 19 अगस्त को ट्राइब्यूनल में पेश होकर अपनी भारतीय नागरिकता को प्रमाणित करने के लिए कहा गया है।
शुक्रवार को यह नोटिस फालाकाटा थाने की पुलिस के माध्यम से अंजलि के घर पहुंचाया गया। नोटिस हाथ में लेते ही अंजलि ने उसकी सत्यता पर सवाल खड़ा करते हुए कहा कि पहले मैं यह जांच करूंगी कि यह नोटिस असली है या नहीं, फिर जो भी कदम उठाना होगा, उठाऊंगी।
गौरतलब है कि कुछ दिन पहले ही कूचबिहार के उत्तमकुमार ब्रजवासी को ऐसा ही नोटिस मिला था, जिसके बाद राज्य की राजनीति में हलचल मच गई थी। अब एक बार फिर एनआरसी नोटिस भेजे जाने से यह सवाल उठ रहा है कि क्या बंगाल के लोगों को एक-एक कर इस प्रक्रिया में घसीटा जा रहा है? इस सवाल के साथ राज्य की सत्ताधारी पार्टी तृणमूल कांग्रेस ने जोरदार विरोध किया था और पार्टी के राष्ट्रीय सचिव और ममता बनर्जी भी सड़क पर उतर आए थे। 21 जुलाई की सभा में ममता ने उत्तम कुमार ब्रजवासी को मंच पर साथ लेकर कहा था की जरूरत पड़ी तो सभी लोग मिलकर असम जाकर विरोध करेंगे।
अंजलि शील का जन्म असम में हुआ था, उनके पति का भी वहीं जन्म हुआ था, लेकिन वे वर्षों पहले उत्तर बंगाल में बसे हुए हैं। अब उनका स्थायी निवास फालाकाटा में है। ऐसे में उन्हें असम से भेजे गए नोटिस पर लोग आश्चर्य जता रहे हैं।
तृणमूल कांग्रेस और कांग्रेस के स्थानीय नेताओं ने अंजलि शील को हर संभव कानूनी मदद देने की बात कही है। अंजलि ने भी स्पष्ट रूप से कहा है कि वे डरने वाली नहीं हैं और कानूनी रूप से इस नोटिस का जवाब देंगी।
हिन्दुस्थान समाचार / अनिता राय