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हरिद्वार, 22 जुलाई (हि.स.)। बुधवार को श्रावण मास शिवरात्रि है। बुधवार को भगवान शिव का जलाभिषेक होगा। शिवालयों में भगवान के जलाभिषेक के लिए शिवालयों में भारी भीड़ उमड़ेगी और अपने आराध्य का जलाभिषेक करेगी। इस बार चतुर्दशी को भोलेनाथ के भक्तों को पूरा दिन जलाभिषेक का अवसर मिलेगा। हालांकि सुबह भद्रा होने से कुछ श्रद्धालु भ्रम की स्थिति में भी हैं।
चतुर्दशी को ही मासिक शिवरात्रि होती है और इसी दिन भगवान शिव का जलाभिषेक कांवडि़ए हरिद्वार से लाए जल से करते हैं। चतुर्दशी का आरंभ कल बुधवार सुबह 4.39 बजे से हो जाएगा जो कि 24 जुलाई को मध्यरात्रि 2.28 तक रहेगी। इसके पश्चात अमावस्या रहेगी। हालांकि चतुर्दशी की सुबह भद्रा का योग भी बन रहा है, जिससे लोग जलाभिषेक के सही मुहुर्त को लेकर भ्रम में हैं।
हालांकि भद्रा स्वर्ग में होने के कारण चतुर्दशी को प्रभावित नहीं कर रही। ज्योतिषाचार्य डॉ प्रदीप जोशी का कहना है कि प्रत्येक भद्रा पर्व त्योहारों को प्रभावित नहीं करती। केवल भूलोक पर भद्रा का वास होने पर ही भद्रा का विचार किया जाना चाहिए। उसमें भी यदि देव कार्य जैसे की जलाभिषेक अथवा पूजन हो तो भद्रा प्रभावित नहीं करती। इस लिहाज से इस बार भोलेनाथ के भक्तों को जलाभिषेक के लिए पूरा दिन उपलब्ध रहेगा।
हिन्दुस्थान समाचार / डॉ.रजनीकांत शुक्ला