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नई दिल्ली, 2 जुलाई (हि.स.)। भारतीय प्रौद्योगिकी संस्थान (आईआईटी) दिल्ली से जुड़े आई-हब फाउंडेशन फॉर कोबोटिक्स (आईएचएफसी) ने रोबोटिक्स फॉर गुड युवा प्रतियोगिता 2025 के लिए भारत में फिर से जिम्मेदारी संभाली है। यह वैश्विक पहल संयुक्त राष्ट्र की संस्था अंतरराष्ट्रीय दूरसंचार संघ के सहयोग से चलाई जा रही है। इसका उद्देश्य समाज में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए रोबोट और कृत्रिम बुद्धिमत्ता का उपयोग करना है।
पिछले वर्ष 2024 में इस प्रतियोगिता को भारत में सफलतापूर्वक आयोजित किया गया था, जहां देशभर के बच्चों को मार्गदर्शन और मंच प्रदान किया गया था। अब यह प्रयास 2025 में भी जारी रहेगा। इस वर्ष की भारत स्तरीय प्रतियोगिता अक्टूबर महीने में नई दिल्ली के यशोभूमि, भारत अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन केंद्र में आयोजित की जाएगी। यह देश-विदेश के प्रमुख उद्योग विशेषज्ञों का एक बड़ा सम्मेलन होगा।
प्रतियोगिता दो आयु वर्गों के लिए है। पहली श्रेणी उन बच्चों के लिए है जिनका जन्म वर्ष 2012 से 2016 के बीच हुआ हो। दूसरी श्रेणी उन बच्चों के लिए है जिनका जन्म वर्ष 2008 से 2011 के बीच हुआ हो। प्रतिभागी अकेले या दो से आठ बच्चों की टोली बनाकर भाग ले सकते हैं। प्रत्येक टोली के साथ एक मार्गदर्शक होना अनिवार्य है, जिसकी आयु 18 वर्ष या उससे अधिक होनी चाहिए। पंजीकरण की अंतिम तिथि 31 जुलाई है। प्रतियोगिता के विजेताओं को 2026 में स्विट्ज़रलैंड के जेनेवा शहर में आयोजित होने वाले अंतरराष्ट्रीय सम्मेलन में भारत का प्रतिनिधित्व करने का अवसर मिलेगा।
पिछले वर्ष की प्रतियोगिता में आपदा प्रबंधन विषय था, जबकि इस वर्ष का मुख्य विषय खाद्य सुरक्षा रखा गया है। इसका उद्देश्य साफ-सफाई, पोषण और खाने की सुरक्षा जैसे महत्वपूर्ण विषयों पर तकनीकी समाधान प्रस्तुत करना है। इस अवसर पर परियोजना निदेशक प्रोफेसर सुबीर कुमार साहा ने कहा कि हमारे देश के बच्चे ऐसे मंचों के माध्यम से भविष्य के वैज्ञानिक और नवप्रवर्तक बन रहे हैं। यह अत्यंत गर्व की बात है।
संयुक्त राष्ट्र संस्था के वरिष्ठ अधिकारी फ्रेडरिक वर्नर ने कहा कि भारत में पिछले वर्ष प्रतियोगिता का आयोजन बहुत सफल रहा। आई-हब फाउंडेशन के मार्गदर्शन से बच्चों ने अंतरराष्ट्रीय स्तर पर अपनी प्रतिभा दिखाई। इसलिए उन्हें फिर से यह जिम्मेदारी सौंपना स्वाभाविक निर्णय था।
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हिन्दुस्थान समाचार / सुशील कुमार