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बेंगलुरु, 16 जुलाई (हि.स.)। कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया के नेतृत्व में अखिल भारतीय कांग्रेस समिति (आईसीसी) पिछड़ा वर्ग सलाहकार परिषद की बुधवार को बैठक हुई। बैठक के दौरान परिषद के सदस्यों ने विभिन्न मुद्दों पर गहनता से चर्चा की। मुख्यमंत्री ने इस बैठक को सफल बताया और राहुल गांधी को धन्यवाद किया।
अखिल भारतीय कांग्रेस समिति, पिछड़ा वर्ग सलाहकार परिषद की पहली बैठक सफल रही है। बैठक के बाद कर्नाटक के मुख्यमंत्री ने इसकी घोषणा की। उन्होंने कहा कि राहुल गांधी की दृढ़ता और संविधानसम्मत मांगों के कारण ही केंद्र सरकार जातिगत जनगणना कराने के लिए तैयार हुई है। यह कांग्रेस के लिए एक ऐतिहासिक उपलब्धि है। मुख्यमंत्री ने सामाजिक न्याय के प्रति प्रतिबद्धता और साहस दिखाने के लिए राहुल गांधी की सराहना भी की।
बैठक के दौरान समाज के उपेक्षित वर्गों के प्रति राहुल गांधी द्वारा दिखाए गए साहस और प्रतिबद्धता के लिए परिषद के सदस्यों ने उन्हें धन्यवाद ज्ञापित किया। सदस्यों की ओर से कहा गया कि राहुल गांधी के नेतृत्व में देश सामाजिक न्याय और संवैधानिक उद्देश्यों की ओर अग्रसर है। यह जातिगत जनगणना इस दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है। राष्ट्रीय स्तर पर जातिगत जनगणना भारत सरकार के रजिस्ट्रार जनरल और जनगणना आयुक्त द्वारा की जानी चाहिए।
बैठक में इस बात पर भी जोर दिया गया कि यह जातिगत जनगणना तेलंगाना के सामाजिक, आर्थिक, शिक्षा, रोजगार और राजनीतिक (एसईईईपी) मॉडल पर की जानी चाहिए। आरक्षण की 50 प्रतिशत की सीमा को हटाकर, पिछड़े वर्गों को शिक्षा, अर्थव्यवस्था, राजनीति और अन्य क्षेत्रों में यथोचित आरक्षण दिया जाना चाहिए। साथ ही संविधान के अनुच्छेद 15(5) के तहत निजी शैक्षणिक संस्थानों में भी आरक्षण लागू किया जाना चाहिए।
परिषद ने घोषणा की कि कांग्रेस पार्टी के ध्वज तले राहुल गांधी के नेतृत्व में, सामाजिक न्याय की लड़ाई को और अधिक मजबूती से लड़ा जाएगा, ताकि देश में समतामूलक समाज की स्थापना संभव हो सके।
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हिन्दुस्थान समाचार / राकेश महादेवप्पा