हिसार : ड्रेन टूटने से बडाला गांव में लगभग 500 एकड़ कृषि भूमि जलमग्न
सिंचाई विभाग के अधिकारी कर रहे मिट्टी डालकर पानी रोकने का प्रयास हिसार, 16 जुलाई (हि.स.)। जिले के नारनौंद क्षेत्र के गांव बास के पास उगालन गांव से आने वाली ड्रेन टूटने से बडाला गांव में लगभग 500 एकड़ कृषि भूमि जलमग्न हो गई है। खेतो
जेसीबी की सहायता से दरार पाटने का प्रयास करते कर्मचारी।


ड्रेन टूटने के बाद मौके पर मौजूद ग्रामीण।


सिंचाई विभाग के अधिकारी कर रहे मिट्टी डालकर पानी रोकने का प्रयास

हिसार, 16 जुलाई (हि.स.)। जिले के नारनौंद क्षेत्र के गांव बास के पास उगालन

गांव से आने वाली ड्रेन टूटने से बडाला गांव में लगभग 500 एकड़ कृषि भूमि जलमग्न हो

गई है। खेतों में खड़ी धान की फसल को भारी नुकसान का खतरा है। सिंचाई विभाग ने बुधवार

को जेसीबी मशीन से ड्रेन की साइड में मिट्टी डालकर पानी रोकने का प्रयास किया।

मौके पर मौजूद ग्रामीणों ने बताया कि ड्रेन में पानी का स्तर लगातार बढ़ रहा

है। अगर एक-दो दिन में स्थिति नहीं सुधरी तो पूरा गांव पानी की चपेट में आ सकता है।

किसान जोगेंद्र, अनूप भांभू, विजय फौजी समेत कई लोगों ने बताया कि लगभग 100 एकड़ धान

की फसल पूरी तरह डूब चुकी है। उनका आरोप है कि बारिश से पहले सिंचाई विभाग ने ड्रेन

की सफाई नहीं करवाई।इसी कारण पानी का बहाव रुका और दबाव बढ़ने से ड्रेन टूट गई। किसानों

ने ड्रेन को पाटकर पानी की निकासी की मांग की है। साथ ही फसल के नुकसान का उचित मुआवजा

देने की अपील की है। ग्रामीणों ने चेतावनी दी है कि प्रशासन के जल्द कदम न उठाने पर

वे आंदोलन करेंगे। प्रशासन की निष्क्रियता पर सवाल उठ रहे हैं। ग्रामीण अब खुद मोर्चा

संभालने की तैयारी कर रहे हैं।

हिन्दुस्थान समाचार / राजेश्वर