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रांची, 11 जुलाई (हि.स.)। झारखंड हाई कोर्ट के जस्टिस दीपक रोशन की अदालत ने सहायक लोक अभियोजक (एपीपी) नियुक्ति प्रक्रिया में उम्र सीमा में छूट देने से जुड़े मामले में 11 अभ्यर्थियों को अंतरिम राहत दी है। शुक्रवार को हुई सुनवाई के बाद अदालत ने स्पष्ट निर्देश दिया कि याचिका दाखिल करने वाले सभी अभ्यर्थी जेपीएससी कार्यालय में ऑफलाइन आवेदन जमा कर सकते हैं।
यह याचिका संदीप कुमार महतो एवं अन्य की ओर से दाखिल की गई थी। याचिकाकर्ताओं ने कहा कि जेपीएससी द्वारा एपीपी परीक्षा 2025 के लिए अधिकतम उम्र सीमा तय करते समय अगस्त 2024 को कट-ऑफ डेट माना गया है, जो अनुचित है। उन्होंने तर्क दिया कि झारखंड में वर्ष 2018 के बाद एपीपी की कोई नियुक्ति नहीं हुई है और अब सात साल बाद जब 2025 में यह प्रक्रिया शुरू की गई है, तो कट-ऑफ डेट को पीछे ले जाकर अगस्त 2019 निर्धारित किया जाना चाहिए, जिससे ज्यादा अभ्यर्थियों को मौका मिल सके।
हाई कोर्ट ने मामले की सुनवाई के दौरान जेपीएससी से यह स्पष्ट करने को कहा था कि क्या उम्र सीमा में छूट दी जा सकती है। जेपीएससी की ओर से अधिवक्ता संजय पिपरवाल और प्रिंस कुमार सिंह ने अदालत को बताया कि उम्र सीमा का निर्धारण राज्य सरकार करती है, न कि जेपीएससी।
इसके बाद कोर्ट ने याचिकाकर्ताओं को राहत देते हुए कहा कि वे अपना आवेदन जेपीएससी को ऑफलाइन माध्यम से जमा कर सकते हैं। यह आदेश फिलहाल केवल उन 11 अभ्यर्थियों पर लागू होगा, जिन्होंने हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है।
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हिन्दुस्थान समाचार / विकाश कुमार पांडे