बलवंत ठाकुर ने विश्व के सबसे ऊँचे रेल पुल को नगोट ब्रिज नाम देने की अपील की
बलवंत ठाकुर ने विश्व के सबसे ऊँचे रेल पुल को नगोट ब्रिज नाम देने की अपील की


जम्मू, 4 जून (हि.स.)। प्रख्यात विद्वान, नाटककार और अंतरराष्ट्रीय ख्याति प्राप्त रंगमंच निर्देशक पद्मश्री बलवंत ठाकुर ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी को पत्र लिखकर जम्मू-कश्मीर के रियासी जिले में चिनाब नदी पर बने विश्व के सबसे ऊंचे रेल पुल को नगोट ब्रिज नाम देने की मांग की है। ठाकुर ने बताया कि जिस क्षेत्र में यह भव्य पुल स्थित है, वह क्षेत्र प्राचीन काल से नगोट के नाम से जाना जाता है, जहां नागों की सांस्कृतिक परंपराएं आज भी जीवित हैं। उन्होंने कहा कि यह भूमि पूर्व-आर्यन काल की बस्तियों से जुड़ी है और नाग इस क्षेत्र के मूल निवासी रहे हैं। यहां की प्राचीन लोकनृत्य परंपरा कुड आज भी जीवित है, जिसकी उत्पत्ति 500 ईसा पूर्व मानी जाती है। यह नृत्य नाग देवता की आराधना का एक प्रमुख माध्यम है।

बलवंत ठाकुर ने अपने पत्र में यह भी लिखा कि जिस गांव बक्कल में यह पुल स्थित है, वहां के लोग आज भी अपने स्थानीय नाग देवता की पूजा करते हैं और मानते हैं कि इस पुल का भूमि क्षेत्र भी उनके देवता का हिस्सा है। पुल को नगोट ब्रिज नाम देने से न केवल इस क्षेत्र की सांस्कृतिक पहचान को सम्मान मिलेगा, बल्कि उन लोगों को भी सांत्वना मिलेगी जिन्होंने रेलवे परियोजना में अपनी पूर्वजों की भूमि खो दी। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि कश्मीर सहित पूरा क्षेत्र नाग परंपरा से गहराई से जुड़ा है। नीलमत पुराण जैसे प्राचीन ग्रंथों में भी नाग परंपरा के व्यापक उल्लेख हैं। अनंतनाग, कुकरनाग, वरीनाग जैसे स्थानों के नाम इसी सांस्कृतिक धरोहर की पुष्टि करते हैं।

बलवंत ठाकुर ने आशा जताई कि प्रधानमंत्री मोदी इस प्रस्ताव पर सकारात्मक निर्णय लेंगे और देश की प्राचीन सांस्कृतिक विरासत के संरक्षण और प्रचार-प्रसार की दिशा में एक ऐतिहासिक कदम उठाएंगे।

हिन्दुस्थान समाचार / राहुल शर्मा