लक्सर में बाढ़ का खतरा, ग्रामीण क्षेत्रों की चिंता बढ़ी
रुड़की, 29 जून (हि.स.)।बीउत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश का असर अब तराई और मैदानी क्षेत्रों में साफ नजर आने लगा है। हरिद्वार जनपद के लक्सर क्षेत्र में स्थित सोलानी नदी का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है, जिससे आसपास के गांवों में
लक्सर में बढ़ते जलस्तर का दृश्य, सोलानी नदी की उफान से खेतों में भर चुका है पानी। ग्रामीण क्षेत्रों में बाढ़ की आशंका गहराई


तेज बारिश और सोलानी नदी के बढ़ते बहाव ने लक्सर की गन्ना फसलों को डुबोया, किसानों में भारी नुकसान की आशंका


रुड़की, 29 जून (हि.स.)।बीउत्तराखंड के पहाड़ी इलाकों में लगातार हो रही मूसलाधार बारिश का असर अब तराई और मैदानी क्षेत्रों में साफ नजर आने लगा है। हरिद्वार जनपद के लक्सर क्षेत्र में स्थित सोलानी नदी का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है, जिससे आसपास के गांवों में बाढ़ जैसे हालात बनने की आशंका गहराने लगी है।

लक्सर क्षेत्र में बीते कई दिनों से हर सुबह रुक-रुक कर तेज बारिश हो रही है। इस बारिश ने ग्रामीण क्षेत्रों में जनजीवन को अस्त-व्यस्त कर दिया है। खेतों में पानी भर गया है, गलियों में कीचड़ और जलभराव की स्थिति बन चुकी है, और कई स्थानों पर ग्रामीणों ने अपने घरों के सामान को ऊंचाई पर रखना शुरू कर दिया है।

सबसे बड़ी चिंता की बात यह है कि सोलानी नदी का जलस्तर तेजी से बढ़ रहा है, और अगर बारिश इसी तरह जारी रही तो नदी कभी भी खतरे के निशान को पार कर सकती है।

दो साल पहले भी डूबा था लक्सर

स्थानीय ग्रामीणों की चिंता इसलिए भी जायज है क्योंकि वर्ष 2022 में भी इसी तरह की बारिश ने लक्सर और आसपास के गांवों को जलमग्न कर दिया था। खेतों में खड़ी फसलें तबाह हो गई थीं और कई घरों में पानी भर गया था। लोगों को मजबूरन अपने घर छोड़कर सुरक्षित स्थानों की ओर जाना पड़ा था। अब एक बार फिर वैसे ही हालात बनते दिख रहे हैं।

प्रशासन अभी सतर्क लेकिन मौन

स्थानीय प्रशासन की ओर से अभी तक कोई आधिकारिक चेतावनी जारी नहीं की गई है, लेकिन आपदा प्रबंधन विभाग की नजरें सोलानी नदी के जलस्तर पर बनी हुई हैं। कुछ संवेदनशील गांवों की निगरानी शुरू कर दी गई है, और पंचायत स्तर पर ग्रामीणों को सतर्क रहने की अपील की गई है।

ग्रामीणों की मांग है कि प्रशासन जल्द से जल्द जरूरी कदम उठाए, ताकि संभावित बाढ़ के खतरे से पहले ही बचाव सुनिश्चित किया जा सके।

हिन्दुस्थान समाचार / Ajay Saini