Enter your Email Address to subscribe to our newsletters
पांच दिवसीय प्रान्तीय पंचपदी कार्यशाला का हुआ शुभारंभ
प्रयागराज, 25 जून (हि.स.)। विद्या भारती काशी प्रांत की ओर से आयोजित पांच दिवसीय प्रांतीय पंचपदी अधिगम पद्धति कार्यशाला का बुधवार काे ज्वाला देवी सरस्वती विद्या मंदिर इंटर कॉलेज, सिविल लाइंस में शुभारंभ हुआ। इस का उद्देश्य शिक्षकों को राष्ट्रीय शिक्षा नीति पर आधारित पंचपदी अधिगम पद्धति के आधार पर प्रभावी पाठ योजनाएं बनाने के कौशल से लैस करना है।
भारतीय शिक्षा समिति, पूर्वी उप्र के मंत्री एवं मुख्य अतिथि शरद गुप्त ने कहा कि आज एआई का युग आ चुका है। अभी हमने हाल में देखा कि किस प्रकार पाकिस्तान से पूरा युद्ध एआई के माध्यम से लड़ा गया। आज बच्चों को कोई प्राब्लम होती है तो एआई की मदद लेते हैं। हम सभी को इस बदलाव के अनुरुप अपने शिक्षण में बदलाव करना पड़ेगा। भविष्य में एआई और भी उन्नत होगा। सेल्फ ड्राइविंग कारें, स्मार्ट शहर और मानव-मशीन का सहज समन्वय शायद अब दूर की बात नहीं है। यह हम पर निर्भर करता है कि हम इस शक्तिशाली तकनीक का उपयोग कैसे करते हैं।
प्रदेश निरीक्षक शेषधर द्विवेदी ने अध्यक्षता करते हुए कहा कि विद्या भारती का प्रारम्भ 1976 में हुआ जबकि 1952 में ही इस संस्थान में पंचपदी शिक्षण पद्धति की योजना बनी। इसमें पांच चरण होते हैं जैसे अधीति, बोध, अभ्यास, प्रयोग एवं प्रसार, अतः इसे पंचपदी कहते हैं। आज इस राष्ट्रीय शिक्षा प्रणाली 2020 में हमारी पंचपदी को समाहित किया गया है। इसी पर आधारित पाठ योजना का निर्माण किस प्रकार से किया जाय इस कार्यशाला में हमें वही सीखना है। उन्होंने बताया कि विशेषज्ञ प्रशिक्षक राष्ट्रीय शिक्षा नीति के अनुरूप नई शिक्षण पद्धतियों पर प्रतिभागियों को इस पांच दिवसीय कार्यशाला में पंचपदी पर आधारित पाठ योजना निर्माण का गहन प्रशिक्षण प्रदान करेंगे। आज दुनिया में एआई का प्रभाव बहुत तेजी से बढ़ रहा है, आज शिक्षकों को न केवल क्लास में स्ट्रेटजी बनाकर जाना पड़ेगा बल्कि अपनी स्ट्रेटजी को रोज बदलना भी पड़ेगा।
विद्या भारती काशी प्रांत के प्रांत प्रचार प्रमुख विक्रम बहादुर परिहार ने बताया कि काशी प्रांत के सभी आठ संकुलों (केशव, माधव, सुलतानपुर, सोनभद्र, प्रतापगढ़, मिर्जापुर, जौनपुर और काशी) से लगभग 87 आचार्य बंधु-भगिनी (पुरुष और महिला शिक्षक) इस महत्वपूर्ण कार्यशाला में भाग ले रहे हैं। यह कार्यशाला 25 जून से शुरू होकर 29 जून तक चलेगी। इस कार्यशाला में प्रतिदिन पांच सत्रों में विभिन्न विशेषज्ञों द्वारा पाठ योजना निर्माण का प्रशिक्षण दिया जायेगा। संभाग निरीक्षक गोपालजी तिवारी ने विशिष्ट अतिथि के रूप में उपस्थित रहे। अन्त में विद्यालय के प्रधानाचार्य विक्रम बहादुर सिंह परिहार ने आये सभी अतिथियो का आभार ज्ञापन किया।
---------------
हिन्दुस्थान समाचार / विद्याकांत मिश्र