दुनिया को आतंकवाद से मुक्त करना भारत की प्राथमिकताः तरुण चुघ
नई दिल्ली, 24 जून (हि.स.)। भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय महामंत्री तरुण चुघ ने मंगलवार को एयर इंडिया फ्लाइट 182 (कनिष्क) के 329 यात्रियों को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए वैश्विक स्तर पर आतंकवाद के खिलाफ एकजुट युद्ध छेड़ने का आह्वान किया। चुघ ने कहा
आयरलैंड स्थित भारतीय दूतावास में प्रवासी भारतीयों एवं ओवरसीज फ्रेंड्स ऑफ़ भाजपा के कार्यकर्ताओं के साथ संवाद करते हुए तरुण चुघ


नई दिल्ली, 24 जून (हि.स.)। भारतीय जनता पार्टी के राष्ट्रीय महामंत्री तरुण चुघ ने मंगलवार को एयर इंडिया फ्लाइट 182 (कनिष्क) के 329 यात्रियों को श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए वैश्विक स्तर पर आतंकवाद के खिलाफ एकजुट युद्ध छेड़ने का आह्वान किया।

चुघ ने कहा कि यह घटना केवल भारत पर नहीं, बल्कि पूरी मानवता पर हमला था। उन्होंने प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के दृष्टिकोण को आगे बढ़ाने की अपील की जिसमें दुनिया को आतंकवाद से मुक्त करना भारत की प्राथमिकता रही है।

आयरलैंड स्थित भारतीय दूतावास में प्रवासी भारतीयों एवं ओवरसीज फ्रेंड्स ऑफ़ बीजेपी के कार्यकर्ताओं के साथ संवाद करते हुए चुघ ने ‘ऑपरेशन सिंदूर’ का भी उल्लेख किया और इसे पाकिस्तान की आईएसआई द्वारा शांति एवं विकास की प्रक्रिया को बाधित करने का कुप्रयास बताया। चुघ ने एक बयान में कहा कि भारत को अस्थिर करने की साज़िशें बार-बार रची जाती हैं, लेकिन मोदी सरकार की निर्णायक नीति और देशवासियों की एकजुटता इन प्रयासों को हर बार नाकाम करती है। चुघ ने कहा कि भारत आज विश्व की चौथी सबसे बड़ी अर्थव्यवस्था बन चुका है और उद्योग, सेवा, निर्यात जैसे क्षेत्रों में तीव्र गति से आगे बढ़ रहा है। उन्होंने कहा कि इस प्रगति में विदेशों में बसे भारतीयों की भी महत्वपूर्ण भूमिका रही है।

उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री मोदी की विदेश नीति ने हर भारतीय को वैश्विक मंचों पर सम्मान दिलाया है। आज भारत की उपस्थिति के बिना कोई भी वैश्विक मंच अधूरा समझा जाता है। भारत की विकास दर, स्थिर नेतृत्व और सक्रिय कूटनीति ने उसे वैश्विक नेतृत्वकर्ता के रूप में स्थापित किया है।

चुघ ने प्रवासी भारतीयों से आग्रह किया कि वे भारत की सांस्कृतिक और विकासात्मक यात्रा के दूत बनें और देश के प्रति गर्व की भावना को नई पीढ़ी तक पहुंचाएं। उपस्थित कार्यकर्ताओं और समुदाय के सदस्यों ने 'विकसित भारत 2047' के सपने को साकार करने में अपनी भूमिका निभाने का संकल्प लिया।उल्लेखनीय है कि कनिष्क विमान त्रासदी 23 जून, 1985 को हुई थी, जिसमें एयर इंडिया की उड़ान संख्या 182 को कनाडा स्थित आतंकियों ने बम से हवा में ही नष्ट कर दिया था। इस घटना में विमान में सवार सभी 329 लोग मारे गए थे।

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हिन्दुस्थान समाचार / विजयालक्ष्मी