वीरता और आत्मबलिदान का प्रतीक बनीं रानी दुर्गावती
- भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा ने मनाया बलिदान दिवस मीरजापुर, 24 जून (हि.स.)। भारतीय जनता पार्टी के अनुसूचित जनजाति मोर्चा द्वारा मंगलवार को बरौधा कचार स्थित जिला कार्यालय के सभागार में वीरांगना महारानी दुर्गावती की पुण्यतिथि को बलिदान दिवस के रूप म
कार्यक्रम को सम्बोधित करते मुख्य अतिथि भाजपा जिला महामंत्री रविशंकर पाण्डेय।


- भाजपा अनुसूचित जनजाति मोर्चा ने मनाया बलिदान दिवस

मीरजापुर, 24 जून (हि.स.)। भारतीय जनता पार्टी के अनुसूचित जनजाति मोर्चा द्वारा मंगलवार को बरौधा कचार स्थित जिला कार्यालय के सभागार में वीरांगना महारानी दुर्गावती की पुण्यतिथि को बलिदान दिवस के रूप में श्रद्धापूर्वक मनाया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता जिलाध्यक्ष राजन वर्मा ने की, जबकि मुख्य अतिथि के रूप में भाजपा जिला महामंत्री रविशंकर पाण्डेय मौजूद रहे।

कार्यक्रम की शुरुआत रानी दुर्गावती के चित्र पर पुष्पांजलि अर्पित कर और दीप प्रज्वलित कर की गई। इसके बाद मोर्चा जिलाध्यक्ष राजन वर्मा ने सभी अतिथियों का स्वागत करते हुए कार्यक्रम की भूमिका रखी।

मुख्य अतिथि रविशंकर पाण्डेय ने रानी दुर्गावती के अद्भुत शौर्य और बलिदान पर प्रकाश डालते हुए कहा कि उनका जन्म 5 अक्टूबर 1524 को कालिंजर में हुआ था। उन्होंने मात्र 18 वर्ष की आयु में गोंड राजा संग्राम शाह के पुत्र दलपत शाह से विवाह किया। पति की मृत्यु के बाद उन्होंने 1550 से 1564 तक गोंडवाना राज्य का शासन सँभाला और मुगलों के कई आक्रमणों का साहसपूर्वक सामना किया। अंत में 1564 में युद्ध के दौरान घायल होकर उन्होंने आत्मबलिदान दे दिया, लेकिन आत्मसमर्पण नहीं किया। उनका जीवन भारतीय इतिहास में वीरता और आत्मगौरव का प्रतीक है।

कार्यक्रम का संचालन मोर्चा के जिला उपाध्यक्ष रामनरेश गोंड ने किया। अंत में अध्यक्ष राजन वर्मा ने सभी पदाधिकारियों व कार्यकर्ताओं का आभार व्यक्त किया।

इस अवसर पर भाजपा जिला मीडिया प्रभारी ज्ञान प्रकाश दूबे, जिला संयोजक दिलीप पटेल, अनुसूचित जनजाति मोर्चा के जिला महामंत्री सूरज गोंड, सहसंयोजक विरेन्द्र मौर्य, उपाध्यक्ष कृपा शंकर गोंड समेत अनुसूचित जनजाति समाज के अन्य गणमान्य जन उपस्थित रहे।

हिन्दुस्थान समाचार / गिरजा शंकर मिश्रा