सतनाः भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद के महानिदेश डॉ. जाट ने किया कृषि विज्ञान केन्द्र मझगवां का निरीक्षण
कृषि विज्ञान केन्द्र मझगवां में आयोजित कार्यक्रम


सतना, 15 जून (हि.स.)। भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद नई दिल्ली के महानिदेशक डॉ. मांगी लाल जाट ने रविवार को सतना जिले के प्रवास के दौरान कृषि विज्ञान केन्द्र मझगवां का निरीक्षण किया। इस अवसर पर भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद नई दिल्ली के उप महानिदेशक (कृषि विस्तार) डॉ. राजबीर सिंह एवं अटारी (जबलपुर) निदेशक डॉ. एसआरके सिंह भी उपस्थित रहे। अधिकारियों ने सबसे पहले वीरांगना रानी दुर्गावती की प्रतिमा पर पुष्पांजलि अर्पित की गई। इसके बाद कृषि विज्ञान केन्द्र मझगवां मे संचालित जीवंत इकाइयों का निरीक्षण किया, जिसमें खाद्य प्रसंस्करण इकाई मे भ्रमण के दौरान स्वयं सहायता समूह एवं कृषि विज्ञान केन्द्र द्वारा निर्मित उत्पादों का अवलोकन किया गया।

खाद्य प्रसंस्करण वैज्ञानिक डॉ. हेमराज द्विवेदी ने बताया कि महिलाओ एवं समूहों को प्रशिक्षण देकर उन्हे छोटी-छोटी इकाइयां स्थापित कराकर आय अर्जित कराते हैं। समूह की महिलाओं से बात करते हुए डॉ. जाट ने पूछा कि आपने कैसे सीखा, तो महिलाओ ने बताया कि केवीके से प्रशिक्षण के माध्यम से हमें लघु वनोपज प्रसंस्करण एवं एकत्रीकरण के बारे मे जानकारी दी गई। जिससे हम अच्छी आय अर्जित कर रहे हैं।

इसके बाद डॉ. जाट ने सामूदायिक बीज बैंक, बीज प्रसंस्करण इकाई, नर्सरी का अवलोकन किया। उन्होंने इस मौके पर किसानों को समूह प्रथम पंक्ति प्रदर्शन में सोयाबीन एवं धान के बीजों का वितरण किया। किसानों से डॉ. जाट ने पूछा कि आपको कृषि विज्ञान केंद्र से कैसे मदद मिलती है। प्रगतिशील किसान शिवकुमार सिंह ने बताया कि सोयाबीन के उन्नत बीज की आवश्यकता है। कृषि विज्ञान केन्द्र के वैज्ञानिक हमेशा हमे तकनीकी जानकारी देते है। वहीं, अनुसुईया कुशवाहा ने बताया कि मैं कृषि विज्ञान केन्द्र से जानकारी लेकर फल एवं सब्जी की खेती करता हूँ। जिससे हमें अच्छी आमदनी प्राप्त हो रही है।

महानिदेशक डॉ. जाट ने बताया कि दीनदयाल शोध संस्थान कृषि विज्ञान केन्द्र मझगवां मे जिस तरीके से काम हो रहा है वह सराहनीय है। इसके लिए मैं नानाजी को नमन करता हूँ। ऐसी विषम परिस्थिति में काम करना और इस स्तर का काम करना काबिले तारीफ है। साथ ही उन्होंने अपने वक्तव्य मे किसानों को आश्वास्त किया कि उन्नत किस्म के बीज आप तक आसानी से पहुचेंगे।

संस्थान द्वारा किए जा रहे वन धन परियोजना के कार्यों की जानकारी में अटारी डायरेक्टर डॉ. एसआरके सिंह ने कहा कि डाकुमेंटरी तैयार कर हमें भेजे। इस अवसर पर प्रगतिशील कृषक, वन धन समूह की महिलाएं तथा गृह उद्योग की महिलाएं, वैष्णवी स्वयं सहायता समूह की महिलाएं एवं पूसा के वैज्ञानिक डॉ. अमित गोस्वामी सहित कृषि विज्ञान केंद्र के समस्त कार्यकर्ता उपस्थित रहे। कार्यक्रम की अध्यक्षता दीनदयाल शोध संस्थान के संगठन सचिव अभय महाजन द्वारा की गई।

हिन्दुस्थान समाचार / मुकेश तोमर