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नई दिल्ली, 14 जून (हि.स)। भारत के बढ़ते समुद्री क्षेत्र को प्रदर्शित करते हुए बंदरगाह, नौवहन और जलमार्ग मंत्रालय (एमओपीएसडब्ल्यू) के सचिव टीके रामचंद्रन ने फ्रांस के मार्सिले में सीएमए सीजीएम के वैश्विक मुख्यालय का दौरा किया। मंत्रालय के अनुसार यह दौरा इस साल फरवरी में फ्रांस के अपने आधिकारिक दौरे के दौरान प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी की सीएमए सीजीएम के साथ ऐतिहासिक बातचीत के सिलसिले में हुआ।
पत्तन, पोत परिवहन और जलमार्ग मंत्रालय ने जारी एक बयान में बताया कि इस यात्रा के दौरान सचिव टीके रामचंद्रन ने सीएमए सीजीएम समूह के वरिष्ठ अधिकारियों से मुलाकात की। रामचंद्रन ने उनको नौवहन, जहाज निर्माण, कंटेनर टर्मिनल, मल्टीमॉडल लॉजिस्टिक्स और समुद्री औद्योगिक क्षमताओं में भारत में कंपनी की बढ़ती उपस्थिति और संचालन के बारे में जानकारी दी गई। सीएमए सीजीएम नेतृत्व ने फरवरी से अबतक अपनी भारत रणनीति के तहत पांच प्रमुख स्तंभों, भारतीय ध्वज वाले बेड़े का विस्तार, जहाज निर्माण सहयोग, अंतर्देशीय रसद विकास, समुद्री औद्योगिक निवेश और नवाचार में हुई प्रगति के बारे में बताया।
मंत्रालय ने बताया कि अपनी नौवहन पहलों के भाग के रूप में सीएमए सीजीएम ने अपने पहले भारतीय ध्वज वाले जहाजों सीसी विटोरिया और सीसी मनौस को हरी झंडी दिखाई है। इसके साथ ही गुजरात के गिफ्ट सिटी में एक नई भारतीय नौवहन इकाई की स्थापना की है। इसके अलावा जहाज निर्माण में समूह एलएनजी-संचालित कंटेनर जहाजों के लिए भारतीय जहाज निर्माण संस्थाओं के साथ आगे चर्चा कर रहा है, जबकि प्रमुख बंदरगाह और अंतर्देशीय बुनियादी ढांचे में निवेश प्रगति पर है, जिसमें न्हावा शेवा फ्रीपोर्ट टर्मिनल के विस्तार के लिए 200 मिलियन डॉलर और वधावन पोर्ट परियोजना में भागीदारी शामिल है।
उल्लेखनीय है कि सीएमए सीजीएम वर्तमान में भारत में 2,200 से अधिक डिजिटल पेशेवरों को रोजगार दे रहा है। इसके साथ ही प्रमुख भारतीय शहरों में समुद्री अनुसंधान एवं विकास और नवाचार केंद्रों की स्थापना की संभावना तलाश रहा है।
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हिन्दुस्थान समाचार / प्रजेश शंकर