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इस्कॉन मंदिर द्वारा कैदियों को वितरित की गई श्रीमद्भागवत गीता की पुस्तकें
झांसी, 16 दिसंबर (हि.स.)। एकादशी के पावन अवसर पर मंगलवार को जिला कारागार भक्ति केन्द्र में परिवर्तित हो गया। हरिनाम संकीर्तन हरेकृष्ण की गूंज और मृदंग की थाप से गुंजायमान हो उठा। जिला कारागार में निरुद्ध कैदी भक्ति के सागर में ऐसे डूबे कि समय की भी खबर न रही। श्रीमद्भागवत गीता के उपदेशों ने सबका मन मोह लिया।
दरअसल इस्कॉन मंदिर झांसी द्वारा जिला कारागार झांसी में कैदियों के बीच प्रवचन, हरिनाम संकीर्तन का आयोजन किया गया। इसके बाद श्रीमद्भगवद गीता का वितरण भी किया गया।
प्रवचन के दौरान इस्कॉन झांसी से मंदिर अध्यक्ष ब्रजभूमि दास महाराज ने श्रीमद्भगवद गीता के संदेशों पर प्रकाश डालते हुए कैदियों को क्रोध, मोह और गलत प्रवृत्तियों से दूर रहने की सीख दी। उन्होंने कहा कि गीता का उद्देश्य आत्मसंयम, धैर्य और सही मार्ग पर चलने की प्रेरणा देना है, जिससे व्यक्ति अपने जीवन में सकारात्मक परिवर्तन ला सकता है।
इस अवसर पर मंदिर उपाध्यक्ष प्रिय गोविंद दास, अपर जिला जज शरद कुमार चौधरी ,वरिष्ठ जेल अधीक्षक विनोद कुमार सोनी, चिकित्सा अधिकारी राम स्वरूप श्रीवास्तव, जेलर अंजनी कुमार गुप्ता समेत जेल अधिकारी,कर्मियों एवं दामोदर बंधु दास सहित अन्य भक्त उपस्थित रहे। कार्यक्रम में सैकड़ों कैदियों ने सहभागिता की।
कार्यक्रम के समापन पर कैदियों के बीच श्रीमद्भगवद गीता का वितरण किया गया। आयोजन को लेकर कारागार प्रशासन एवं कैदियों द्वारा सराहना की गई।
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हिन्दुस्थान समाचार / महेश पटैरिया