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नरसिंहपुर, 21 अक्टूबर (हि.स.)। मध्य प्रदेश के नरसिंहपुर जिले में पुलिस स्मृति दिवस के अवसर पर पुलिस लाइन परिसर में गरिमामय परेड और श्रद्धांजलि समारोह का आयोजन मंगलवार को किया गया। यह दिवस उन वीर पुलिसकर्मियों की अमर याद में मनाया जाता है जिन्होंने अपने कर्तव्यों का निर्वहन करते हुए देश की सेवा में अपने प्राणों की आहुति दी। समारोह की शुरुआत राष्ट्रीय ध्वज वंदन और परेड निरीक्षण के साथ हुई। इस अवसर पर जिले के पुलिस अधीक्षक डॉ. ऋषिकेश मीना ने शहीदों के प्रति श्रद्धांजलि अर्पित करते हुए कहा कि “देश की सुरक्षा और जनता की सेवा में पुलिस बल सदैव तत्पर रहा है। हमारे शहीदों की शौर्यगाथा हर पुलिसकर्मी के लिए प्रेरणा का स्रोत है।”
191 शहीदों के नामों का वाचन और मौन श्रद्धांजलि
कार्यक्रम के दौरान पुलिस अधीक्षक डॉ. मीना ने वर्षभर में देशभर में शहीद हुए 191 वीर पुलिसकर्मियों के नामों का वाचन किया। पूरा परिसर इस दौरान भावनाओं से गूंज उठा। नामों के वाचन के बाद शहीद स्मारक पर पुलिस परेड द्वारा सलामी दी गई, और सभी उपस्थित जनों ने दो मिनट का मौन रखकर शहीदों को नमन किया। इस गरिमामय अवसर पर कलेक्टर रजनी सिंह, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक संदीप भूरिया, वरिष्ठ प्रशासनिक अधिकारी, नगर के जनप्रतिनिधि, शहीदों के परिजन और बड़ी संख्या में पुलिसकर्मी मौजूद रहे। सभी ने मिलकर शहीद स्मारक पर पुष्पचक्र अर्पित कर अपनी श्रद्धांजलि अर्पित की।
शहीद परिवारों का सम्मान
समारोह की सबसे भावुक झलक उस समय देखने को मिली जब कार्यक्रम में उपस्थित शहीद पुलिसकर्मियों के परिजनों का सम्मान किया गया। कलेक्टर रजनी सिंह और पुलिस अधीक्षक डॉ. मीना ने उनके हाथों में सम्मान-पत्र और प्रतीकचिह्न भेंट कर उनके बलिदान को नमन किया। इस दौरान मंच से कहा गया कि “पुलिस बल की ताकत सिर्फ उसकी वर्दी में नहीं, बल्कि उन परिवारों में भी है जिन्होंने देशहित में अपने प्रियजनों को खोया है। उनका योगदान अमूल्य है और सदैव याद रखा जाएगा।”
परेड के दौरान पुलिस बैंड द्वारा बजाए गए राष्ट्रभक्ति गीतों ने वातावरण को भावुक बना दिया। शहीदों के परिजनों की आंखों में गर्व और आंसू दोनों झलक रहे थे। वहीं उपस्थित नागरिकों ने भी देश की सुरक्षा में लगे जवानों को सलाम किया। कार्यक्रम के अंत में पुलिस अधीक्षक डॉ. मीना ने कहा, “हर पुलिसकर्मी का कर्तव्य केवल कानून-व्यवस्था बनाए रखना नहीं, बल्कि उस आदर्श पर चलना भी है जिसके लिए हमारे शहीदों ने अपने प्राण न्यौछावर किए। उनका बलिदान व्यर्थ नहीं जाएगा।”
शौर्य और सेवा की परंपरा
पुलिस स्मृति दिवस का यह आयोजन हर वर्ष 21 अक्टूबर को देशभर में मनाया जाता है। इस दिन वर्ष 1959 में लद्दाख के हॉट स्प्रिंग्स क्षेत्र में भारत-तिब्बत सीमा पर चीनी सैनिकों के साथ संघर्ष के दौरान 10 भारतीय पुलिसकर्मी शहीद हुए थे। उनके साहस और बलिदान की याद में यह दिन भारतीय पुलिस सेवा के इतिहास में “शौर्य और बलिदान का प्रतीक दिवस” माना जाता है। नरसिंहपुर में आयोजित इस समारोह ने भी उसी भावना को दोहराया। पुलिस लाइन में उपस्थित जवानों ने दृढ़ संकल्प लिया कि वे बलिदानियों के आदर्शों पर चलकर जनता की सुरक्षा और शांति व्यवस्था बनाए रखने में सदैव तत्पर रहेंगे।
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हिन्दुस्थान समाचार / भागीरथ तिवारी