देश को विकासशील से विकसित बनाने के लिए विचार मंथन
--विजेता भारत के संसद भवन दिल्ली में करेंगे प्रतिभाग --जिला युवा संसद में चार जनपदों के युवाओं ने र
वर्चुअल संवाद


--विजेता भारत के संसद भवन दिल्ली में करेंगे प्रतिभाग

--जिला युवा संसद में चार जनपदों के युवाओं ने रखे अपने विचार

प्रयागराज, 28 जनवरी (हि.स.)। नेहरू युवा केंद्र प्रयागराज की ओर से जिला युवा संसद कार्यक्रम वर्चुअल माध्यम से आयोजित कराई गई। इसमें चार जनपद चित्रकूट, भदोही, प्रतापगढ़ तथा प्रयागराज के युवा संसदों ने प्रतिभाग किया। प्रत्येक जिले के 2-2 विजेता फरवरी में आयोजित राज्य स्तरीय संसद प्रतियोगिता में प्रतिभाग करेंगे तथा राज्य स्तर के विजेता भारत के संसद भवन दिल्ली में प्रतिभाग करेंगे।

प्रयागराज के जिला युवा अधिकारी जागृति पाण्डेय को नोडल प्रभारी बनाया गया। उनके निर्देशन में 3 अलग-अलग विषयों कौशल विकास, सोशल मीडिया, स्वास्थ्य-युवाओं का एक एजेंडा जैसे विषयों पर बोलते हुए प्रतिभागियों ने अपने-अपने विचार रखे। चारों जिलों से विजेता चयनित करने को गठित निर्णायक मंडल सदस्य ने विजेताओं को चुना। वर्चुअल संसद के जिलेवार विजेता प्रयागराज से प्रथम निर्मल कांत पांडे और द्वितीय सत्यम शुक्ला रहे। चित्रकूट से प्रथम भानुजा मिश्रा और द्वितीय दामिनी मिश्रा, प्रतापगढ़ से प्रथम अपूर्वा सिंह और द्वितीय अक्षिता केसरवानी और भदोही से प्रथम गरिमा शुक्ला और द्वितीय रोजी बानो रहे।

प्रयागराज के प्रतिभागी अभिनव पाण्डेय ने कहा कि युवाओं की ऊर्जा से भरे इस देश में सरकार को विभिन्न स्कीमों को कॉलेज, स्कूल स्तर पर कौशल विकास हेतु विभिन्न जागरूकता एवं प्रशिक्षणों हेतु बजट बढ़ाया जाना चाहिए तथा युवाओं को इससे भरपूर लाभ लेते हुए देश को आगे बढ़ाने में भूमिका निभानी चाहिए। वहीं सोशल मीडिया पर युवा संसद में बोलते हुए कोरांव के प्रशांत ने कहा कि सोशल मीडिया के अत्यधिक नकारात्मक इस्तेमाल हेतु सरकार को नीतिगत ठोस कदम उठाए जाने चाहिए। युवाओं को सोशल मीडिया प्लेटफार्म को अपने कौशल को दिखाने के लिए किया जाना चाहिएं।

चित्रकूट से भानुजा मिश्रा का कहना है कि देश को ऐसी कार्ययोजनाओं की अवश्यकता है जिससे धरातलीय रूप से युवाओं के क्षमताओं का संवर्धन किया जा सके। भदोही जिले की गरिमा मौर्या के अनुसार देश के युवाओं को अपने कौशल में निरंतर विकास करते रहने की अवश्यकता है जिससे भारत उभरती अर्थव्यवस्था की चुनौतियों का सामना मजबूती से कर सके। ग्रामीण युवाओं पर विशेष केन्द्रण की आवश्यकता है।

हिन्दुस्थान समाचार/विद्या कान्त