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कोलकाता, 07 अगस्त (हि. स.)। आर.जी. कर मेडिकल कॉलेज कांड की पीड़िता के माता-पिता को नवान्न अभियान से पहले पुलिस का नोटिस मिलने के बाद उन्होंने कलकत्ता हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। परिजनों ने पुलिस द्वारा दिए गए नोटिस को खारिज करने की मांग करते हुए अदालत में याचिका दायर की है। इस याचिका पर शुक्रवार को न्यायमूर्ति तीर्थंकर घोष की एकल पीठ में सुनवाई होने की संभावना है।
शनिवार को इस मामले को एक साल पूरा हो रहा है। न्याय की मांग को लेकर जूनियर डॉक्टरों और आंदोलनकारी समूहों ने आठ और नौ अगस्त को विभिन्न कार्यक्रमों की घोषणा की है, जिनमें नौ अगस्त को नवान्न अभियान शामिल है। आंदोलनकारियों का आरोप है कि प्रशासन इस अभियान को रोकने की हरसंभव कोशिश कर रहा है।
पीड़िता के माता-पिता को कोलकाता पुलिस ने बुधवार को दंड प्रक्रिया संहिता की धारा 35(3) के तहत नोटिस भेजा है। इसी को चुनौती देने के लिए वे अदालत पहुंचे हैं। इससे पहले भी आंदोलन से जुड़े कई अन्य लोगों को भी पुलिस नोटिस भेज चुकी है।
दरअसल बुधवार को ही पीड़िता के माता-पिता दिल्ली रवाना हुए। लेकिन राजधानी रवाना होने से पहले उन्होंने मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पर तीखा हमला बोला। पीड़िता के पिता ने कहा कि मुख्यमंत्री ममता बनर्जी पहले दिन से ही अन्याय कर रही हैं और हमारी न्याय की मांग को दबाने की कोशिश कर रही हैं। ऐसे मुख्यमंत्री को 14वीं मंज़िल से नीचे उतारने के लिए ही हम नवान्न अभियान कर रहे हैं।
उन्होंने आरोप लगाया कि ममता बनर्जी सत्ता में बने रहने के लिए डर दिखाने, पैसे बांटने और वोट खरीदने जैसे हथकंडे अपनाती हैं।
हिन्दुस्थान समाचार / ओम पराशर