विदेशों तक जाती हैं अलवर की राखियाँ, पतंगबाज़ी का भी क्रेज चरम पर, बाजार सजे
अलवर. राखी के त्यौहार से पहले सजे बाजार।


अलवर ,6 अगस्त (हि.स.)। रक्षाबंधन के त्योहार को लेकर अलवर शहर के बाजारों की रौनक बढ़ने लगी है। त्योहार में अभी कुछ दिन बाकी हैं लेकिन होप सर्कस, घंटाघर, नगर निगम के पास और प्रमुख बाजारों में राखियों की दुकानें सज चुकी हैं। हर उम्र के लोगों की भीड़ इन दुकानों पर उमड़ रही है, खासतौर पर महिलाएं और बच्चे राखियों की खरीदारी में जुटे हैं।

देश -विदेश में प्रसिद्ध हैं अलवर की राखियां

अलवर की राखियाँ अपनी कारीगरी और डिजाइनों के कारण देश ही नहीं बल्कि विदेशों में भी प्रसिद्ध हैं। यहां से हर साल सैकड़ों राखियाँ अमेरिका, कनाडा, दुबई जैसे देशों में भेजी जाती हैं।

मिठाईयों की सजी दुकाने

राखी के साथ मिठाइयों की भी मांग तेज हो गई है। शहर की प्रमुख मिठाई की दुकानों पर आकर्षक पैकिंग के साथ कई तरह की मिठाइयाँ सजाई जा रही हैं। हलवाई इस बार त्योहार को देखते हुए विशेष मिठाइयों का स्टॉक तैयार कर रहे हैं। रक्षाबंधन पर खासतौर पर मिल्क केक, केसर बर्फी और चॉकलेट फ्लेवर मिठाइयों की खूब बिक्री होती है।

राखी पर उड़ती हैं पतंग

सिर्फ राखियाँ और मिठाइयाँ ही नहीं, पतंगबाज़ी का शौक भी राखी के दिन चरम पर होता है। अलवर शहर में रक्षाबंधन के दिन पतंग उड़ाने की परंपरा है। मालाखेड़ा बाजार के साथ गली मोहल्लो और पुराना बस स्टैंड क्षेत्र में पतंग और मांझे की दुकानें लग गई हैं। बच्चे और युवा रंग-बिरंगी पतंगें और मजबूत मांझा खरीदते नजर आ रहे हैं। रक्षाबंधन के आते ही अलवर का पूरा माहौल उत्सवी हो चला है। हर तरफ भाई-बहन के इस पावन रिश्ते का उत्सव झलकने लगा है।

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हिन्दुस्थान समाचार / मनीष कुमार