युवक की मौत से गुस्साए परिजनों व किसान यूनियन का यशोदा अस्पताल पर फिर हंगामा
हंगामा करते लोग


मृतक उज्जवल की फाइल फोटो


गाजियाबाद, 10 जून (हि.स.)। दिल्ली से सटे उत्तर प्रदेश के जिले के कौशाम्बी थानाक्षेत्र स्थित एक अस्पताल में हर्निया की रोबोटिक असिस्टेड सर्जरी के दौरान युवक की मौत के बाद मंगलवार को आक्रोशित परिजनों और किसान यूनियन के कार्यकर्ताओं ने कई घंटे तक हंगामा किया। आक्रोशितों ने अस्पताल प्रबंधन पर कई गंभीर आरोप भी लगाए। पुलिस ने मौके पर पहुंच कर स्थिति को नियंत्रित किया।

बताया गया कि मुजफ्फरनगर के भस्सी गांव निवासी 35 वर्षीय उज्जवल चौधरी का यशोदा स्पेशियलिटी अस्पताल में हर्निया के ऑपरेशन के बाद बीते 1 जून की देर रात करीब 1ः31 बजे मौत हो गई थी। इस पर ग्रामीणों ने दो जून को भी हंगामा किया था। मंगलवार को भी उज्ज्वल की मौत से गुस्साए ग्रामीणों व किसान यूनियन ने अस्पताल के बाहर जमकर हंगामा किया। इस दौरान आक्रोशित लोगों ने अस्पताल प्रबंधन पर कई गंभीर आरोप भी लगाए। इनका कहना है कि 2 जून को भी परिजनों ने अस्पताल पर हंगामा किया था। साथ ही चिकित्सकों पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए तहरीर दी थी। मामले में पुलिस ने सीएमओ कार्यालय को रिपोर्ट भेज दी है लेकिन अभी तक मामले में कोई कार्रवाई न हुई है। परिजनों और किसान यूनियन के कार्यकर्ताओं ने हाथों में तख्ती लेकर प्रदर्शन कर जमकर हंगामा किया।प्रदर्शन की सूचना पर स्थानीय पुलिस बलमौके पर पहुंचा और लोगों को समझाया। एसीपी इंदिरापुरम अभिषेक श्रीवास्तव ने बताया कि विरोध प्रदर्शन के कारण भारी संख्या में पुलिस बल को भी अस्पताल के बाहर तैनात किया गया है।

मृतक उज्ज्वल के चचेरे भाई आदित्य सिरोही ने बताया कि 23 मई को उज्ज्वल यहां अस्पताल में अपनी जांच कराने के लिए आए थे। चिकित्सकों ने जांच के बाद उन्हें हर्निया होने और सर्जरी कराने की सलाह दी। इसके लिए उन्हें 26 मई को बुलाया गया था। सर्जरी करीब चार घंटे चली। आदित्य का आरोप है कि सर्जरी के दौरान आंत में कट लग जाने से 27 मई को उज्ज्वल ने पेट में दर्द हुआ। डाक्टरों की सलाह पर नारियल पानी और दवाई दी गई लेकिन आराम नहीं हुआ। उनकी तबीयत लगातार बिगड़ती गई। 29 मई को दोबारा से सर्जरी हुई और वेंटिलेटर पर लाया गया और 1 जून की देर रात करीब 1ः30 बजे उज्ज्वल की मौत हो गई।

इस संबंध में अस्पताल के सीएमएस ने बताया कि मरीज को अम्बिलिकल हर्निया, मोरबिड ओबेसिटी की समस्या के चलते भर्ती किया गया था। 26 मई को मरीज की रोबोटिक असिस्टेड सर्जरी की गई। 29 मई को मरीज ने सांस लेने में दिक्कत और पेट फूलने जैसी समस्याएं बताई थीं। इसके बाद मरीज को आईसीयू में शिफ्ट किया गया था। 29 मई को ही परफोरेशन पेरीटोनाइटिस के चलते दोबारा पेट की मेजर सर्जरी की गई। इसके बाद आईसीयू में वेंटीलेटर सपोर्ट पर रखा गया, जहां संक्रमण और मल्टीपल ऑर्गन फेलियर जैसी विभिन्न परेशानियां रहीं, जिससे हालत और गंभीर बनी रही। 2 जून की सुबह करीब 1:31 बजे मरीज का निधन हो गया।

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हिन्दुस्थान समाचार / फरमान अली